चंडीगढ़, 9 मार्च (The News Air) आप सरकार के दृढ़ “युद्ध नशयां विरुद्ध” अभियान के केवल 12 दिनों के भीतर असाधारण परिणाम मिले हैं। पंजाब के वित्त मंत्री और नशा विरोधी अभियान उप-समिति के अध्यक्ष हरपाल सिंह चीमा ने आज एक संवाददाता सम्मेलन में इसके आंकड़े साझा किए और कहा कि पंजाब से नशीली दवाओं के उन्मूलन के लिए आम आदमी पार्टी (आप) प्रतिबद्धता है।
मंत्री चीमा ने कहा कि अब तक 875 एफआईआर दर्ज की गई हैं। 1,188 ड्रग तस्करों को गिरफ्तार किया गया है और 35 लाख रुपये की ड्रग मनी जब्त की गई है। वहीं 68 किलोग्राम हेरोइन, 873 किलोग्राम पोस्ता भूसी, 42 किलोग्राम अफीम, 3.5 किलोग्राम चरस और 6,74,370 नशीली गोलियों सहित अन्य नशीले पदार्थ जब्त किए गए हैं। इसके अतिरिक्त, एक व्यापक जागरूकता अभियान सक्रिय रूप चलाया जा रहा है जो लोगों को नशा मुक्त और समृद्ध पंजाब के निर्माण में योगदान देने के लिए प्रेरित कर रहा है।
मंत्री हरपाल सिंह चीमा ने पंजाब में नशीली दवाओं की महामारी पैदा करने और उसे बढ़ावा देने के लिए शिरोमणि अकाली दल (शिअद)-भाजपा गठबंधन और कांग्रेस के नेतृत्व वाली पिछली सरकारों की कड़ी आलोचना की। उन्होंने इन पार्टियों पर सोची-समझी रणनीति के तहत पंजाब के युवाओं को नशे की ओर धकेलने का आरोप लगाया।
उन्होंने कहा, “2007 से पहले पंजाब ने हेरोइन या ‘चिट्टा’ जैसी सिंथेटिक दवाओं के बारे में कभी नहीं सुना था। अकाली-भाजपा शासन के दौरान ही इन दवाओं ने पंजाब में प्रवेश किया और हमारे युवाओं को बर्बाद कर दिया। नौकरियां और अवसर प्रदान करने के बजाय उन्होंने पंजाब की युवा पीढ़ी को नशे की लत में फंसाने के लिए एक साजिश रची।
उन्होंने कांग्रेस सरकार पर भी हमला बोला और कहा, ”कैप्टन अमरिंदर सिंह ने 2017 में झूठी शपथ ली थी और चार सप्ताह के भीतर नशीली दवाओं को खत्म करने का वादा किया था। इसके बजाय, उनकी सरकार ने नशीली दवाओं के तस्करों के साथ संबंध और मजबूत किये। यहां तक कि कोविड-19 लॉकडाउन के दौरान भी, जब बुनियादी आवश्यकताएं पहुंच से बाहर थीं उस समय भी मादक पदार्थों की तस्करी और फली-फूली। यही कारण है कि पंजाब के लोगों ने 2022 में उन्हें खारिज कर दिया।
चीमा ने 2022 में आप के ऐतिहासिक जनादेश को अकाली-भाजपा और कांग्रेस की भ्रष्ट और जनविरोधी नीतियों की अस्वीकृति के रूप में बताया और कहा कि सत्ता संभालने के बाद से सीएम भगवंत मान की सरकार ने न्याय सुनिश्चित करने के लिए पुलिस बल के आधुनिकीकरण और प्रशासनिक प्रणालियों को मजबूत करने को प्राथमिकता दी है।
चीमा ने आप सरकार की दक्षता पर जोर देते हुए एनडीपीएस अधिनियम के तहत सजा दरों में भारी अंतर पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि जहां आप के कार्यकाल में सजा की दर 86 प्रतिशत हो गई है, वहीं कांग्रेस शासन के दौरान यह काफी कम 58 प्रतिशत थी और अकाली-भाजपा सरकार के तहत तो यह केवल 40 प्रतिशत थी। चीमा ने यह भी बताया कि कुछ जिलों ने 90 प्रतिशत से अधिक सजा दर हासिल की है, जैसे संगरूर में 93 प्रतिशत, नवांशहर में 99 और रोपड़ में 95 प्रतिशत। उन्होंने इन परिणामों का श्रेय एक मजबूत प्रणाली को दिया जो कुशल अभियोजन, उन्नत जांच एजेंसियों और मजबूत पंजाब पुलिस को एकीकृत करती है। उन्होंने कहा, “अकाली-भाजपा सरकार के तहत, नशीली दवाओं के तस्कर अक्सर देर से आरोपपत्र के कारण सजा से बच जाते थे।”
सरकार ने ड्रग्स संकट से निपटने के लिए कई सक्रिय कदम भी उठाए हैं। जागरूकता बढ़ाने के लिए विश्वविद्यालयों और कॉलेजों में छात्रों के साथ 1,028 से अधिक बैठकें आयोजित की गई हैं। इसके अतिरिक्त, ग्राम आउटरीच कार्यक्रमों का तेजी से विस्तार किया गया है, जिसमें स्थानीय स्तर पर नशीली दवाओं से संबंधित मुद्दों को संबोधित करने के लिए सेवानिवृत्त अधिकारियों और शिक्षकों से बनी समितियों का गठन भी शामिल है। सरकार ने एक साहसिक कदम उठाते हुए 22 प्रमुख ड्रग्स विक्रेताओं के घरों को ध्वस्त कर उनके खिलाफ कार्रवाई भी की है।
चीमा ने बेरोजगारी को दूर करने पर आप सरकार के फोकस को रेखांकित किया, जिसे उन्होंने पंजाब के युवाओं में निराशा का मूल कारण बताया। उन्होंने इस बात पर प्रकाश डाला कि सरकार ने 50,000 से अधिक नौकरियां पैदा की हैं और 10 वर्षों में मात्र 10,000 से कम नौकरियां प्रदान करने के अकाली-भाजपा के रिकॉर्ड को पीछे छोड़ दिया है। उन्होंने यह भी कहा कि ₹88,000 करोड़ का निवेश हुआ है। वहीं विश्वविद्यालय और कॉलेजों की हालत में सुधार हुआ है। उन्होंने कहा कि हम पंजाब के युवाओं उज्जवल भविष्य के लिए लगातार नौकरियां पैदा कर रहे हैं।
चीमा ने पूरे भारत में मादक पदार्थों की तस्करी को बढ़ावा देने के लिए शिअद-भाजपा की भी आलोचना की और गुजरात को नशीले पदार्थों का केंद्र बताया। उन्होंने कहा कि यह कोई रहस्य नहीं है कि गुजरात नशीली दवाओं की तस्करी का केंद्र है। देश भर में नशीली दवाओं के प्रसार को बढ़ावा देने के लिए शिअद-भाजपा गठबंधन सीधे तौर पर जिम्मेदार है।
चीमा ने आश्वासन दिया कि “ड्रग्स के खिलाफ युद्ध” तब तक नहीं रुकेगा जब तक कि प्रत्येक ड्रग तस्कर को या तो जेल में नहीं डाल दिया जाता या पंजाब से बाहर नहीं निकाल दिया जाता। जो लोग नशे की लत के शिकार हो गए हैं सरकार उनके पुनर्वास और मानसिक स्वास्थ्य सहायता के लिए प्रतिबद्ध है। पंजाब सरकार ने राज्य को नशा मुक्त और समृद्ध राज्य बनाने की कसम खाई है। हम साथ मिलकर अपने बच्चों के लिए एक स्वस्थ और उज्जवल भविष्य सुनिश्चित करेंगे।