Rahul Gandhi on Gujarat Congress Reforms : गुजरात (Gujarat) दौरे के दौरान कांग्रेस (Congress) नेता राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने पार्टी संगठन की कमज़ोरियों पर खुलकर बात की और निष्क्रिय नेताओं पर सीधा निशाना साधा। उन्होंने कहा कि कुछ सीनियर नेता केवल पद की शोभा बने हुए हैं, लेकिन ज़मीनी स्तर पर उनका कोई प्रभाव नहीं है और वे बूथ (Booth) तक नहीं जितवा पाते। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि कुछ नेता भारतीय जनता पार्टी (BJP) के साथ मिले हुए हैं, जिन्हें संगठन से हटाया जाएगा – लेकिन प्यार से, नफरत या हिंसा से नहीं।
अहमदाबाद (Ahmedabad) में हुई एक बैठक के दौरान राहुल गांधी ने कहा कि कांग्रेस ही एकमात्र पार्टी है जो राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) और भाजपा को चुनौती दे सकती है। उन्होंने स्वीकार किया कि गुजरात में पार्टी कार्यकर्ता हतोत्साहित हैं, लेकिन उनका संघर्ष सराहनीय है। उन्होंने कहा, “आप धमकियां खाते हैं, लाठियां खाते हैं, लेकिन कांग्रेस का झंडा नहीं छोड़ते।”
यह राहुल गांधी की एक सप्ताह में गुजरात की दूसरी यात्रा थी, जहां उन्होंने पार्टी संगठन को मजबूत करने के लिए स्पष्ट रोडमैप साझा किया। उन्होंने बताया कि निष्क्रिय और भाजपा समर्थक नेताओं को हटाया जाएगा और उन लोगों को आगे लाया जाएगा जो स्थानीय स्तर (Local Level) पर जनता के मुद्दों से जुड़े हैं और जिनकी पकड़ बूथ पर है। राहुल गांधी ने दो टूक कहा, “जो नेता जनता की सेवा नहीं कर रहे, उन्हें साइड करना होगा और नए लोगों को मौका देना होगा।”
उन्होंने यह भी कहा कि अब पार्टी को नई पीढ़ी से जोड़ने की जरूरत है। “नई जनरेशन को हमें कांग्रेस में लाना है और जो ज़मीनी कार्यकर्ता हैं, उन्हें ताकत देना है,” राहुल गांधी ने कहा। उन्होंने कांग्रेस कार्यकर्ताओं को भरोसा दिलाया कि जहां भी जरूरत होगी, वह वहां मौजूद रहेंगे।
राहुल गांधी ने इस दौरान वरिष्ठ नेताओं की निष्क्रियता पर एक किस्सा साझा करते हुए कहा कि जब कोई सीनियर नेता किसी जिले में आता है तो दो-तीन दिन हलचल होती है, लेकिन उनके जाने के बाद सब गायब हो जाते हैं क्योंकि उनकी ज़मीनी पकड़ नहीं होती।
गुजरात (Gujarat) में 2027 के अंत में होने वाले विधानसभा चुनाव (Assembly Election) को देखते हुए राहुल गांधी ने पार्टी संगठन में व्यापक बदलाव के संकेत दिए हैं। उन्होंने बताया कि एक एआईसीसी (AICC) पर्यवेक्षक और चार राज्य पर्यवेक्षकों की पांच सदस्यीय समिति गुजरात की 41 जिला इकाइयों (जिसमें आठ शहर भी शामिल हैं) के नए प्रमुखों की नियुक्ति की निगरानी करेगी। इस प्रक्रिया की शुरुआत अरवल्ली (Aravalli) जिले से होगी।
अपने संबोधन में राहुल गांधी ने जिला इकाइयों को अधिक शक्ति और संसाधन देने, प्रदर्शन के आधार पर नेताओं और कार्यकर्ताओं का मूल्यांकन करने और भाजपा समर्थक या निष्क्रिय नेताओं को हटाने का वादा किया। उनका फोकस जमीनी स्तर पर सक्रिय पदाधिकारियों को सामने लाने और कांग्रेस को स्थानीय स्तर पर पुनर्जीवित करने पर है।