Delhi Election Result – दिल्ली विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने ऐतिहासिक जीत दर्ज की है, वहीं आम आदमी पार्टी (AAP) को करारी हार का सामना करना पड़ा। अरविंद केजरीवाल (Arvind Kejriwal) के नेतृत्व में लगातार तीन बार सत्ता में रहने वाली पार्टी इस बार महज दो दर्जन सीटों तक सिमट गई।
हालांकि, AAP के लिए राहत की एक वजह यह है कि उसने BJP के मुकाबले ज्यादा वोट नहीं खोए। आंकड़ों के मुताबिक, BJP को 46.35% और AAP को 43.51% वोट मिले, यानी दोनों के बीच वोट प्रतिशत का अंतर महज 3% का रहा।
AAP को कितना नुकसान, BJP को कितना फायदा?
- 2020 चुनाव में AAP ने 54% वोट हासिल किए थे, जबकि BJP के खाते में 38% वोट आए थे।
- इस बार AAP को 10% वोटों का नुकसान हुआ, जबकि BJP को 8% का फायदा हुआ।
- AAP की कई सीटें BJP ने छीन लीं, लेकिन वोट शेयर में ज्यादा गिरावट नहीं देखी गई।
बड़े नेताओं की हार ने AAP को दिया झटका
- अरविंद केजरीवाल (Arvind Kejriwal) अपनी सीट नहीं बचा सके।
- मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia) और सत्येंद्र जैन (Satyendra Jain) जैसे बड़े नेता भी हार गए।
- BJP को दिल्ली में 27 साल बाद सत्ता मिली, जिससे AAP का गढ़ हिल गया।
BJP की बंपर जीत का कारण क्या रहा?
- लोकसभा चुनाव 2024 (Lok Sabha Election 2024) से पहले मोदी लहर ने दिल्ली में असर दिखाया।
- Hindutva, राष्ट्रवाद और केंद्र सरकार की योजनाओं ने BJP के पक्ष में माहौल बनाया।
- AAP सरकार के खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोपों और नेताओं की गिरफ्तारी ने पार्टी की छवि बिगाड़ी।
कांग्रेस (Congress) फिर हुई साफ, लेकिन वोट शेयर बढ़ा
- लगातार तीसरी बार कांग्रेस शून्य पर सिमट गई।
- हालांकि, पार्टी के वोट शेयर में 2% का इजाफा हुआ।
- कांग्रेस के कुछ वोट AAP को मिल सकते थे, लेकिन वे BJP की ओर शिफ्ट हो गए।
क्या AAP की राजनीति खत्म हो रही है?
- राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि AAP अभी पूरी तरह खत्म नहीं हुई।
- वोट शेयर में बड़ी गिरावट नहीं आई, लेकिन सीटें कम हो गईं।
- 2024 के लोकसभा चुनावों में AAP को रणनीति बदलनी होगी।
दिल्ली चुनाव में BJP ने ऐतिहासिक जीत हासिल की, लेकिन AAP पूरी तरह खत्म नहीं हुई। हालांकि, बड़े नेताओं की हार ने पार्टी को कमजोर कर दिया है। अब देखना होगा कि आम आदमी पार्टी इस हार से कैसे उबरती है और आगे की रणनीति क्या होगी।