Verka Jute Bag Scam : लुधियाना (Ludhiana) के खन्ना (Khanna) स्थित वेरका कैटल फीड प्लांट (Verka Cattle Feed Plant) में एक बड़ा जूट बैग घोटाला (Jute Bag Scam) सामने आया है, जिससे प्लांट को 1 करोड़ 32 लाख 91 हजार 731 रुपये का नुकसान हुआ है। इस घोटाले की जानकारी प्लांट के जनरल मैनेजर डॉ. सुरजीत सिंह भदौड़ (Dr. Surjit Singh Bhadour) ने साझा की। आरोप है कि प्लांट के नियमित और आउटसोर्स कर्मचारियों ने पांच निजी कंपनियों के साथ मिलकर यह फर्जीवाड़ा किया।
वर्ष 2023-24 और 2024-25 में पुराने बारदाने की बिक्री के दौरान जांच कमेटी और ऑडिटर (Audit Committee and Auditor) की रिपोर्ट में पाया गया कि रिकॉर्ड में 19 लाख 77 हजार 50 बैग बेचे जाने की बात दर्ज थी, जबकि दस्तावेजों में हेराफेरी कर इसे 10 लाख 80 हजार 300 बैग दिखाया गया। इस गड़बड़ी से लगभग 9.75 लाख बैगों की बिक्री को छुपाया गया और इसी आधार पर करोड़ों रुपये की हेराफेरी की गई।
घोटाले की योजना को अंजाम देने के लिए स्टोर शाखा (Store Department) के असली बिलों को लेखा शाखा (Accounts Department) की टेली सॉफ्टवेयर (Tally Software) से हटा दिया गया। इस प्रक्रिया में लेखा शाखा की इंचार्ज मनप्रीत कौर मांगट (Manpreet Kaur Mangat) और स्टोर इंचार्ज जतिंदरपाल सिंह (Jatinderpal Singh) की संलिप्तता पाई गई। वहीं आउटसोर्स एजेंसी के अमरिंदर सिंह (Amrinder Singh), बचित्र सिंह (Bachittar Singh) और दीपा खान (Deepa Khan) की भूमिका भी सामने आई है।
इन कर्मचारियों ने निम्नलिखित पांच निजी फर्मों के साथ मिलकर इस गड़बड़ी को अंजाम दिया:
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महाराजा ब्रदर्स कलालमाजरा (Maharaja Brothers Kalalamajra)
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एनके जूट ट्रेडर खन्ना (NK Jute Trader Khanna)
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राधा ट्रेडिंग कंपनी खन्ना (Radha Trading Company Khanna)
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श्री राम बारदाना ट्रेडर खन्ना (Shree Ram Bardana Trader Khanna)
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लक्ष्मी बारदाना ट्रेडर खन्ना (Laxmi Bardana Trader Khanna)
इन आरोपियों को लेखा सॉफ्टवेयर में यूजर राइट्स (User Rights) भी दिए गए थे, जिससे उन्होंने डिजिटल रिकॉर्ड में हेराफेरी (Digital Record Tampering) भी की।
घोटाले के उजागर होने के बाद, जनरल मैनेजर ने एसएसपी खन्ना (SSP Khanna) को इस मामले में एफआईआर दर्ज (FIR Filed) करने की शिकायत दी है। इसके साथ ही विजिलेंस लुधियाना (Vigilance Ludhiana) को भी पूरी जानकारी दी गई है।
जांच के बाद तीनों आउटसोर्स कर्मचारियों की सेवाएं समाप्त कर दी गई हैं, वहीं दो नियमित कर्मचारियों के खिलाफ विभागीय कार्रवाई (Departmental Action) के लिए उच्चाधिकारियों को पत्र भेजा गया है।






