The News Air –(नई दिल्ली) नेताओं द्वारा लिखी जाती रहीं क़िताबें अक्सर पॉलिटिक्स में कंट्रोवर्सी(Political Controversy) खड़ी करती रही हैं। हाल में कांग्रेस नेता सलमान ख़ुर्शीद( Salman Khurshid) की क़िताब सनराइज ओवर अयोध्या (Sunrise Over Ayodhya: Nationhood in Our Times) आई थी। इसने अच्छा ख़ासा विवाद पैदा किया। अब केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी(Smriti Irani) एक क़िताब ला रही हैं। इसका टाइटल ‘लाल सलाम’ है। बता दें कि लाल सलाम नक्सलियों के लिए इस्तेमाल किया जाता है। स्मृति की क़िताब में इसका क्या कनेक्शन है, अभी खुलासा नहीं किया गया है। क़िताब का कवर भी लाल रंग का है। यह क़िताब कोई कंट्रोवर्सी खड़ा करेगी या नहीं, यह अभी नहीं कहा जा सकता है। लेकिन दावा किया जा रहा है कि यह क़िताब blockbuster साबित होगी।
29 नवंबर को होगी लॉन्चिंग
यह क़िताब एक राजनीति थ्रिलर है। स्मृति ईरानी ने बुधवार को एक tweet करके क़िताब का खुलासा किया। प्रकाशक ने एक प्रेस रिलीज जारी की है। इसके अनुसार क़िताब 29 नवंबर को सामने आएगी। कहा जा रहा है कि क़िताब में देश में क़ानून की सेवा करने वालों की बहादुरी को सामने लाया जा रहा है। यह अप्रैल 2010 की दुखद घटना से प्रेरित है जब दंतेवाड़ा में CRPF के 76 जवान शहीद हो गए थे। ईरानी अपनी क़िताब के ज़रिए नक्सली-माओवादी विद्रोही क्षेत्रों में चुनौतियों का सामना करने वाले अधिकारियों को श्रद्धांजलि देना चाह रही हैं।
निश्चय ही तीखे तेवर होंगे
लाल सलाम एक उपन्यास बताया जा रहा है। कहा जा रहा है कि इसे 9 साल की रिसर्च के बाद तैयार किया गया। यानी इसे लिखने तक 10 साल लगे। स्मृति ईरानी के इस उपन्यास में क्या है और प्रकाशक के बारे में वे अधिक बात नहीं कर रहीं। हालांकि इतना जरुर माना जा रहा है कि जिस तरह स्मृति ईरान संसद में अपने आक्रामक तेवर दिखाती रही हैं, वैसा ही इस क़िताब में भी दिखाई देगा। इस क़िताब की प्रेरणा स्मृति को कहां और किससे मिली, जल्द वे इसका खुलासा करेंगी। बताया जाता है कि इस क़िताब पर फ़िल्म बनाने के राइट्स भी किसी प्रोडक्शन हाउस ने ख़रीद लिए हैं।
पिछले दिनों कांग्रेस नेता सलमान ख़ुर्शीद की क़िताब ने मचाया था बवाल
10 नवंबर को कांग्रेस नेता सलमान ख़ुर्शीद( Salman Khurshid) की क़िताब सनराइज ओवर अयोध्या (Sunrise Over Ayodhya: Nationhood in Our Times) का विमोचन किया गया था। अयोध्या पर केंद्रित इस क़िताब का विमोचन पूर्व गृहमंत्री पी. चिदंबरम (P.Chidambaram) ने किया था। यह क़िताब लगातार विवादों में है। क़िताब पर विवाद छिड़ते ही सलमान ख़ुर्शीद के ख़िलाफ़ दिल्ली पुलिस में शिकायत दर्ज़ कराई गई है। आरोप है कि उन्होंने हिन्दुत्व की आतंकवाद से तुलना करके उसे बदनाम करने की कोशिश की है। वकील विवेक गर्ग ने दिल्ली पुलिस कमिश्नर से शिकायत की थी। ख़ुर्शीद ने क़िताब में ज़िक्र किया है कि हिंदुत्व ISIS और बोको हरम जैसे जिहादी इस्लामी समूहों के समान है। इस पर भाजपा आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय ने टिप्पणी करते हुए कहा-हम उस व्यक्ति से और क्या उम्मीद कर सकते हैं, जिसकी पार्टी ने सिर्फ़ इस्लामी जिहाद के साथ समानता लाने के लिए मुस्लिम वोट पाने भगवा आतंकवाद शब्द गढ़ा।
ख़ुर्शीद की क़िताब पर बैन से मना
ख़ुर्शीद की क़िताब पर बैन लगाने को लेकर हिंदू सेना ने पटियाला कोर्ट में याचिका लगाई थी। इस पर कोर्ट ने कहा कि अभिव्यक्ति के अधिकार पर रोक नहीं लगाई जा सकती है। हालांकि कोर्ट ने कहा कि याचिकाकर्ता क़िताब के विरेाध में प्रचार कर सकता है। भावनाओं को ठेस पहुंचाने के विरोध में खंडन का भी प्रकाशन करा सकता है।