Shiromani Gurdwara Parbandhak Committee (SGPC) के प्रधान हरजिंदर सिंह धामी (Harjinder Singh Dhami) को मनाने की कोशिशें तेज हो गई हैं। शुक्रवार को श्री अकाल तख्त साहिब (Sri Akal Takht Sahib) के जत्थेदार ज्ञानी रघबीर सिंह (Giani Ragbhir Singh) खुद उनके निवास स्थान होशियारपुर (Hoshiarpur) पहुंचे। इस दौरान श्री केसगढ़ साहिब (Sri Kesgarh Sahib) के जत्थेदार ज्ञानी सुल्तान सिंह (Giani Sultan Singh) भी उनके साथ मौजूद थे। इस मुलाकात में करीब दो घंटे तक बंद कमरे में बातचीत हुई, जिससे साफ है कि प्रधान धामी को मनाने की कोशिशें तेज हो रही हैं।
SGPC कमेटी ने नहीं स्वीकारा इस्तीफा
बीते दिनों SGPC की अंतरिम कमेटी ने भी प्रधान धामी का इस्तीफा अस्वीकार कर दिया था। बैठक के बाद ज्ञानी रघबीर सिंह ने मीडिया से बातचीत में कहा कि हरजिंदर सिंह धामी साफ छवि के गुरसिख हैं और धर्म को उनकी जरूरत है, इसलिए उन्हें अपना इस्तीफा वापस ले लेना चाहिए।
पहले भी जत्थेदार ने की थी अपील
छह दिन पहले भी ज्ञानी रघबीर सिंह ने प्रधान धामी से इस्तीफा वापस लेने की अपील की थी। तब उन्होंने कहा था कि यह “दुखद पहलू” है और ऐसा नहीं होना चाहिए था। जत्थेदार ने यह भी कहा कि धामी ने नैतिकता के आधार पर अपना इस्तीफा सौंपा है, लेकिन धर्म के लिए उन्हें अपनी जिम्मेदारी संभालनी चाहिए।
17 फरवरी को दिया था इस्तीफा
17 फरवरी 2025 को हरजिंदर सिंह धामी ने अचानक एक प्रेस कॉन्फ्रेंस बुलाकर SGPC प्रधान पद से इस्तीफा दे दिया था। उन्होंने कहा था कि श्री अकाल तख्त साहिब के जत्थेदार ज्ञानी रघबीर सिंह ने ज्ञानी हरप्रीत सिंह (Giani Harpreet Singh) को हटाने पर जो ऐतराज जताया है, वह उससे दुखी हैं। इस ऐतराज से ऐसा प्रतीत होता है कि हरप्रीत सिंह को हटाने का कारण उन्हें (धामी) ही माना जा रहा है, इसलिए वह अपने पद से इस्तीफा दे रहे हैं। उन्होंने अपना इस्तीफा SGPC की कार्यकारी कमेटी को सौंप दिया और अब अंतिम फैसला कमेटी को लेना है।
धामी की वापसी पर सिख समुदाय की नजरें
अब सवाल यह है कि क्या हरजिंदर सिंह धामी जत्थेदार की अपील मानकर अपना इस्तीफा वापस लेंगे? या फिर SGPC में कोई बड़ा बदलाव देखने को मिलेगा? फिलहाल, सिख समुदाय की नजरें इस पूरे घटनाक्रम पर टिकी हुई हैं।