AAP Leaders FIR : पंजाब (Punjab) में आम आदमी पार्टी (AAP) के प्रदेश अध्यक्ष और कैबिनेट मंत्री अमन अरोड़ा (Aman Arora) की मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं। चंडीगढ़ पुलिस (Chandigarh Police) ने उन्हें एक नोटिस भेजकर मजीठिया (Majithia) से जुड़ी सोशल मीडिया पोस्ट मामले में जवाब देने को कहा है। यह पूरा मामला विपक्ष के नेता प्रताप सिंह बाजवा (Pratap Singh Bajwa) की शिकायत के बाद उठा, जिसमें आरोप लगाया गया कि AAP नेताओं ने उनके द्वारा पोस्ट की गई वीडियो को एडिट कर जनता को गुमराह किया और उनकी छवि को नुकसान पहुंचाया।
बाजवा की शिकायत के आधार पर चंडीगढ़ के सेक्टर-3 थाने में 11 जुलाई को FIR दर्ज की गई। इसमें पंजाब AAP के प्रधान अमन अरोड़ा और वित्त मंत्री हरपाल सिंह चीमा (Harpal Singh Cheema) के खिलाफ केस दर्ज किया गया है। प्राथमिकी भारतीय दंड संहिता की धारा 336(4), 356 और 61(2) के तहत दर्ज की गई है।
यह मामला उस वायरल वीडियो से जुड़ा है जिसमें शिरोमणि अकाली दल (SAD) के वरिष्ठ नेता बिक्रम सिंह मजीठिया (Bikram Singh Majithia) की गिरफ्तारी और उनकी पत्नी एवं विधायक गनीव कौर (Ganeev Kaur) के साथ हुए कथित दुर्व्यवहार को लेकर प्रताप सिंह बाजवा ने विरोध जताया था। बाजवा ने 25 जून 2025 को अपने आधिकारिक X (पूर्व ट्विटर) अकाउंट से एक वीडियो पोस्ट किया था, जिसमें विजिलेंस अधिकारियों द्वारा गनीव कौर के घर में घुसकर उनके बेडरूम तक पहुंचने की निंदा की गई थी।
बाजवा ने आरोप लगाया कि आम आदमी पार्टी ने इस वीडियो को एडिट कर अपने सोशल मीडिया हैंडल्स पर इस तरह से पोस्ट किया जिससे ऐसा प्रतीत हो कि वे बिक्रम सिंह मजीठिया का समर्थन कर रहे हैं। AAP नेताओं द्वारा वीडियो से महिला विधायक गनीव कौर का नाम और उनकी स्थिति को हटा दिया गया था। इससे न केवल उनकी छवि खराब करने की कोशिश हुई, बल्कि जनता में भ्रम भी फैलाया गया।
अब चंडीगढ़ पुलिस ने अमन अरोड़ा को नोटिस भेजते हुए AAP पंजाब की सोशल मीडिया टीम की पूरी जानकारी मांगी है। इस टीम से यह जानकारी ली जाएगी कि वायरल वीडियो को किसने पोस्ट किया, किसने उसमें छेड़छाड़ की और किस उद्देश्य से उसे एडिट किया गया।
FIR में चार प्रमुख बिंदुओं का उल्लेख किया गया है—पहला, वीडियो पोस्ट करने की तारीख और समय; दूसरा, गनीव कौर के साथ हुए व्यवहार की निंदा; तीसरा, वीडियो को एडिट करके गलत रूप में प्रसारित करना; और चौथा, प्रताप सिंह बाजवा की छवि खराब करना और लोगों में गलतफहमी फैलाना।
इस पूरे घटनाक्रम ने पंजाब की राजनीति को गर्मा दिया है और आम आदमी पार्टी की मीडिया रणनीति पर सवाल खड़े कर दिए हैं। आने वाले दिनों में इस मामले में और गंभीर जांच की संभावना है, जो राज्य की सियासत को और हिला सकती है।






