कोलकाता (Kolkata) 20 जनवरी (The News Air): पश्चिम बंगाल (West Bengal) के RG Kar Medical College में हुए सनसनीखेज रेप और मर्डर केस में सियालदह कोर्ट (Sealdah Court) ने दोषी संजय रॉय (Sanjay Roy) को उम्रकैद की सजा सुनाई। कोर्ट ने इस कृत्य को इंसानियत के खिलाफ मानते हुए दोषी पर ₹50,000 का जुर्माना भी लगाया।
यह मामला पिछले साल अगस्त में सुर्खियों में आया था, जब मेडिकल कॉलेज की ट्रेनी महिला डॉक्टर का शव कॉलेज के सेमिनार हॉल से बरामद हुआ। शुरुआती जांच कोलकाता पुलिस (Kolkata Police) ने की थी, लेकिन बाद में यह मामला सीबीआई (CBI) को सौंपा गया।
CBI की दलीलें और दोषी का बचाव : सुनवाई के दौरान सीबीआई के वकील ने कहा, “हमने कोर्ट में पुख्ता सबूत पेश किए हैं। पीड़िता, जो 36 घंटे की ड्यूटी पर थी, के साथ कार्यस्थल पर ही यह जघन्य अपराध हुआ।”
पीड़िता के वकील ने कहा, “घटना की सच्चाई साक्ष्यों में साफ झलकती है। आरोपी के खिलाफ सभी सबूत मौजूद हैं, फिर भी उसने खुद को बेगुनाह बताने की कोशिश की।”
सेमिनार हॉल से बरामद हुआ था शव : 9 अगस्त 2024 की सुबह, RG Kar Medical College के सेमिनार हॉल में पीड़िता का शव पाया गया। इस घटना ने पूरे राज्य को झकझोर कर रख दिया।
कोलकाता पुलिस ने 5 दिन तक जांच के बाद मामले को सीबीआई को सौंप दिया। सीबीआई की जांच में यह साफ हो गया कि संजय रॉय ने अपराध को अंजाम दिया।
मुकदमे की तेजी से हुई प्रक्रिया : इस मामले में ट्रायल 11 नवंबर 2024 को शुरू हुआ और केवल 59 दिन के भीतर दोषी करार दिया गया। घटना के 162 दिनों के भीतर यह सजा सुनाई गई, जो भारतीय न्यायपालिका में दुर्लभ माना जाता है।
सीएम ममता बनर्जी (Mamata Banerjee) की प्रतिक्रिया : पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने फैसले से पहले कहा, “हमने इस मामले की जांच में पूरा सहयोग किया। न्याय में देरी हुई, लेकिन हमें यकीन था कि पीड़िता को न्याय मिलेगा।”
RG Kar Rape Case ने समाज को झकझोर कर रख दिया। तेज जांच और सख्त सजा से यह संदेश दिया गया है कि अपराधी चाहे जितना भी शातिर क्यों न हो, कानून के चंगुल से बच नहीं सकता। पीड़िता के परिवार और राज्य के लोगों ने आखिरकार न्याय की जीत देखी।