हजारों लोगों की मौत, कस्बे-शहर तबाह… एक साल बाद कहां खड़ा है रूस-यूक्रेन युद्ध (The News Air)

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Russia Ukraine War Anniversary
Russia Ukraine War Anniversary

Russia Ukraine War Anniversary: रूस और यूक्रेन के बीच छिड़े युद्ध को 24 फरवरी को एक साल पूरा हो गया. जंग अब दूसरे साल में प्रवेश कर चुकी है और अभी तक दोनों देशों के बीच किसी भी किसी भी मुद्दे को लेकर सहमति नहीं बनी है. पिछले एक साल में इस जंग ने हजारों लोगों की जिंदगियां छीन ली, शहरों और कस्बों को पूरी तरह से तबाह कर दिया, पुतिन के ‘सैन्य अभियान’ ने लाखों लोगों को यूक्रेन से पलायन करने पर मजबूर कर दिया.

रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने देश (यूक्रेन) को कथित तौर पर आजाद कराने की उम्मीद के साथ पिछले साल 24 फरवरी को यूक्रेन पर सैन्य आक्रमण का आदेश दिया था. हालांकि, पुतिन को अभी तक पूरी तरह से इसमें सफलता नहीं मिली है. यूक्रेन के मुकाबले तिनके जैसे देश ने रूसी सैनिकों का हौसले के साथ सामना किया और किसी तरह अपने देश पर नियंत्रण बनाए रखा.

कई इलाकों से छुड़ाया कब्जा

पिछले साल जून-जुलाई के महीने में यूक्रेन ने उन क्षेत्रों को भी वापस ले लिया, जिन पर रूस ने शुरू में ही कब्जा जमा लिया था. हालांकि, जंग के एक साल बाद रूस अभी भी यूक्रेन के पांचवें हिस्से पर नियंत्रण बनाए हुए है. यही कारण है कि जंग अभी भी जारी है. इसी बीच, यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोडिमिर जेलेंस्की शांति की किसी भी संभावित वार्ता को लेकर तैयार बैठे हैं.

पश्चिमी देशों के खिलाफ है ये जंग?

यूक्रेन का समर्थन करने वाले पश्चिमी देशों से रूस अभी भी नाराज है और आए दिन पुतिन इन देशों को चेतावनी देते नजर आते हैं. यूक्रेन के रक्षा मंत्री सर्गेई शोइगु का कहना है कि ये लड़ाई पश्चिमी देशों के अस्तित्व की लड़ाई है. सर्गेई शोइगू ने कहा, “रूस का प्लान है कि यूक्रेन का इस्तेमाल कर पूरे पश्चिम पर अपना नियंत्रण कर लिया जाए. हालांकि, रूस का ये प्रयास विफल साबित होगा.”

रूस के खिलाफ UNGA में प्रस्ताव पास

युद्ध की पहली वर्षगांठ को चिह्नित करने के लिए संयुक्त राष्ट्र महासभा (UNGA) में एक प्रस्ताव भी पास किया गया. प्रस्ताव में रूस से यूक्रेन में युद्ध समाप्त करने और अपनी सेनाएं वापस बुलाने को कहा गया है. इस प्रस्ताव के समर्थन में 141 मत पड़, जबकि 32 देश वोटिंग से दूर रहे. इन देशों में बेलारूस, उत्तर कोरिया, इरीट्रिया, माली, निकारागुआ, सीरिया और भारत भी शामिल हैं.

जेलेंस्की से मिलेंगे बाइडेन

उधर, रूस ने संयुक्त राष्ट्र के प्रस्ताव को ‘बेकार’ बताकर खारिज कर दिया. वहीं वोलोडिमिर जेलेंस्की ने कहा कि UNGA का प्रस्ताव “यूक्रेन के लिए वैश्विक समर्थन का एक शक्तिशाली संकेत” था. अमेरिका ने भी इस पर प्रतिक्रिया दी. व्हाइट हाउस ने कहा कि यूक्रेन को अपना समर्थन दिखाने के लिए अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन वर्षगांठ के मौके पर G7 नेताओं और जेलेंस्की से मुलाकात करेंगे. बाइडेन इस मुलाकात के बाद रूस के खिलाफ नए प्रतिबंधों की भी घोषणा कर सकते हैं.

अब क्या है व्लादिमीर पुतिन का प्लान?

इस सबके बीच, एक अहम बात ये है कि रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन जंग को और आगे बढ़ाना चाहते हैं. पुतिन की योजना जंग को और तेज करने की है. इसका उदाहरण है नई मल्टी-वारहेड अंतरमहाद्विपीय बैलिस्टिक मिसाइलों की तैनाती की घोषणा. इसी के साथ, पुतिन ने परमाणु हथियारों (Nuclear Weapons) के नियंत्रण पर अमेरिका के साथ की गई संधि (Strategic Arms Reduction Treaty) को भी निलंबित कर दिया है.

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