Israel Iran Conflict : इजरायल (Israel) और ईरान (Iran) के बीच तनाव अब अपने चरम पर पहुंच चुका है। इजरायल ने हाल ही में एक जोरदार सैन्य कार्रवाई कर ईरान की सेना के कई शीर्ष अधिकारियों को निशाना बनाया। इस हमले में ईरान के सेना प्रमुख मोहम्मद बाघेरी (Mohammad Bagheri) और मिसाइल प्रोग्राम के प्रमुख जनरल आमिर अली हाजिजादेह (Amir Ali Hajizadeh) की मौत हो गई। साथ ही ईरान के कुल 20 उच्च पदस्थ सैन्य कमांडरों को भी मार गिराया गया है। इस हमले में ईरान के परमाणु ठिकानों को भी गंभीर नुकसान पहुंचा है, जिससे पूरे मध्य-पूर्व में अस्थिरता फैल गई है।
इजरायल को अब ईरान की जवाबी कार्रवाई का भय सताने लगा है। इसी को देखते हुए इजरायल ने दुनिया भर में स्थित अपने दूतावासों को अस्थायी रूप से बंद करने का फैसला लिया है। स्वीडन (Sweden) में स्थित इजरायली दूतावास ने इसकी पुष्टि की है और जर्मनी (Germany) की राजधानी बर्लिन (Berlin) स्थित दूतावास को पहले ही बंद किया जा चुका है। दूतावासों को अगली सूचना तक कौंसुलर सेवाएं बंद रखने के निर्देश दिए गए हैं।
ईरान ने इस हमले के बाद चेतावनी दी है कि “अब कहानी का अंत हम ही लिखेंगे।” इसके बाद इजरायल ने अपने देश में हाई अलर्ट घोषित कर दिया है। स्थिति की गंभीरता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि ईरान और इजरायल दोनों ने अपने एयरस्पेस (Airspace) को बंद कर दिया है। इतना ही नहीं, उनके पड़ोसी देश जैसे इराक (Iraq), सीरिया (Syria), जॉर्डन (Jordan) और लेबनान (Lebanon) ने भी अपनी वायुसीमा को अस्थायी रूप से बंद कर दिया है।
यूरोप और अमेरिका भी सतर्क
इस सैन्य टकराव के असर से यूरोप की महाशक्तियों में भी चिंता देखी जा रही है। फ्रांस (France), ब्रिटेन (Britain) और जर्मनी (Germany) के नेताओं ने फोन पर आपात बैठक कर स्थिति की समीक्षा की है। वहीं अमेरिका (USA) ने साफ तौर पर कहा है कि अगर ईरान की ओर से इजरायल पर हमला किया गया, तो वह यहूदी राष्ट्र की रक्षा करेगा।
प्राकृतिक गैस फील्ड को भी किया बंद
ईरानी हमले की आशंका को देखते हुए इजरायल ने अपने सबसे बड़े प्राकृतिक गैस फील्ड को भी अस्थायी तौर पर बंद कर दिया है। इजरायल के ऊर्जा मंत्री ने जानकारी दी कि इस निर्णय का उद्देश्य संभावित हमले से नुकसान को रोकना है। अगली सूचना तक इस गैस फील्ड से उत्पादन रोका गया है।
दुनिया भर के यहूदियों को सतर्कता बरतने की सलाह
इजरायल सरकार ने अपने नागरिकों और दुनियाभर के यहूदियों को सलाह दी है कि वे किसी भी सार्वजनिक स्थान पर यहूदी या इजरायली प्रतीक चिह्नों का प्रदर्शन न करें। इजरायली दूतावासों की वेबसाइट्स पर यह सूचना जारी कर दी गई है। इजरायल ने यह नहीं बताया है कि दूतावासों को कब तक बंद रखा जाएगा। जर्मनी सरकार ने आश्वासन दिया है कि वह अपने देश में यहूदी समुदाय और इजरायली संस्थानों को पूरी सुरक्षा मुहैया कराएगी।
इस पूरे घटनाक्रम ने वैश्विक स्तर पर तनाव और युद्ध की संभावना को प्रबल कर दिया है। आने वाले दिनों में यह टकराव और गंभीर रूप ले सकता है।