नई दिल्ली, 02 जुलाई (The News Air) : 18वीं लोकसभा के पहले सत्र में मंगलवार को अखिलेश यादव ने अपनी बात रखी। उन्होंने कहा कि सत्ता पक्ष और विपक्ष दोनों लगातार अपनी बात रख रहे हैं। मैं सबसे पहले अध्यक्ष जी आपको और आपके साथ-साथ सभी चुने हुए सांसदों को बधाई और शुभकामनाएं देना चाहता हूं। मैं सबसे पहले उन सभी समझदार और ईमानदार मतदाताओं को धन्यवाद देता हूं जिन्होंने लोकतंत्र को एकतंत्र बनाने से रोका। इस चुनाव में इंडिया गठबंधन की नैतिक जीत हुई है, सकारात्मक जीत हुई है। 2024 का परिणाम हम इंडिया वालों के लिए जिम्मेदारी से भरा पैगाम है। इस दौरान अखिलेश यादव ने केंद्र की एनडीए सरकार पर जोरदार अटैक किया। उन्होंने पेपर लीक का मुद्दा उठाया। अग्निवीर योजना का विरोध किया। नकल माफिया का जिक्र कर बीजेपी सरकार को घेरा। केंद्र के 5 ट्रिलीयन इकोनॉमी हासिल करने दावे पर भी टिप्पणी की।
‘4 जून सांप्रदायिक राजनीतिक के अंत का दिन’
अखिलेश यादव ने कहा कि चुनाव के समय सत्तापक्ष की ओर से ऐसा कहा गया कि 400 पार। हालांकि, आवाम ने हुकूमत का गुरूर तोड़ दिया। दरबार तो बड़ा गमगीन और बेनूर है और पहली बार ऐसा लग रहा है कि हारी हुई सरकार विराजमान है। जनता कह रही है चलने वाली नहीं सरकार। ये गिरने वाली सरकार है क्योंकि ऊपर से जुड़ा कोई तार नहीं, नीचे कोई आधार नहीं, अधर में जो लटकी हुई है वो कोई सरकार नहीं है। सपा मुखिया ने कहा कि 15 अगस्त 1947 का औपनेविशक राज्य से आजादी से दिन था। तो 4 जून 2024 सांप्रदायिक राजनीतिक के अंत के दिन था। जहां सांप्रदायिक राजनीति का अंत हुई है वहीं सामुदायिक राजनीति की शुरुआत हुई है। इस चुनाव में सांप्रदायिक राजनीति की हार हो गई है।
अखिलेश बोले- नकारात्मक राजनीति की शिकस्त हुई
अखिलेश यादव ने कहा कि हमारे देश की प्रति व्यक्ति आय किस स्थान पर पहुंची है। अगर हमारी सरकार कहती है कि हम 5 ट्रिलियन डॉलर इकॉनमी बना लेंगे। लेकिन अगर उत्तर प्रदेश की इकॉनमी को 1 ट्रिलियन डॉलर की इकॉनमी बनना है तो 35 प्रतिशत की ग्रोथ चाहिए। मुझे नहीं लगता है कि हमें ये लक्ष्य हासिल कर पाएगा। पांचवीं बड़ी अर्थव्यवस्था की बात करते हैं हम हंगर इंडेक्स में कहां खड़े हैं। जो लोग चुनाव को अपने तरीके से मोड़ते हैं मैं उन्हें कहना चाहता हूं कि अध्यक्ष महोदय तोड़ने वाली राजनीति को तोड़ दिया है और जोड़ने वाली राजनीति की जीत हुई है। नकारात्मक राजनीति की शिकस्त हुई है। संविधान मंथन में संविधान रक्षकों की जीत हुई है। अब नीचे से जो समाज की आधार उठेगी वही राजनीति की शुरुआत होगी। मतलब अब मनमर्जी नहीं जनमर्जी चलेगी। इस चुनाव का बड़ा पैगाम यही है।
यूपी का जिक्र कर बीजेपी सरकार पर अटैक
अखिलेश यादव ने कहा कि अगर उत्तर प्रदेश की बात न हो तो कैसे होगा। लोग क्योटो की फोटो लेकर बनारस की गलियों से लेकर गंगा जी को ढूंढ रहे हैं। उनको लगता है मां गंगा जिस दिन साफ हो जाएगी शायद उस दिन उनको क्योटो मिल जाएगा। अनाथ पशुओं से छुटकारा नहीं मिल पाया। गन्नों का भुगतान का वादा किया गया था। हर वादा को जुमला बना देने वाले के लिए जनता ने भी ठुकरा दिया।
स्मार्ट सिटी जुमले की बात है- अखिले
अखिलेश ने कहा कि उत्तर प्रदेश में प्रभुत्व की लड़ाई दो लोगों को आपस में लड़ा रही है लेकिन उसकी मार जनता को सता रही है। शिक्षा परीक्षा माफिया का जन्म हुआ। पहली बारिश में टपकती छत और स्टेशन की गिर चुकी दीवार बेमानी विकास की कहानी बता रहे हैं। रही सच्चे विकास की बात जो हमने जो सड़क बनाई उसपर प्लेन उतर रहे हैं। यही स्मार्ट सिटी के जुमले की बात है न तो जाम से छुटकारा मिला न कोई बुनियादी सुविधा से मुक्ति मिल पाई।
‘ईवीएम पर मुझे कल भी भरोसा नहीं था आज भी नहीं’
कन्नौज से सांसद अखिलेश यादव ने कहा कि ईवीएम पर मुझे कल भी भरोसा नहीं था, आज भी भरोसा नहीं है। मैं 80 के 80 सीट जीत जाऊं तब भी नहीं भरोसा है। और मैंने अपने चुनाव में कहा था कि ईवीएम से जीतकर ईवीएम हटाने का काम करेंगे न ईवीएम का मुद्दा मरा है न खत्म होगा। जबतक ईवीएम नहीं हटेगी हम समाजवादी लोग उस बात पर अडिग रहेंगे। यूपी वो प्रदेश है जिसने बीजेपी की दो बार सरकार बनवाई। यूपी के साथ बड़ा भेदभाव हुआ। मुझे याद है वो दिन जिस दिन पीएम एक्सप्रेस वे पर सबसे बड़े विमान से उतरे थे, लेकिन वो अलग बात है कि उस समय सीएम उनके साथ नहीं बैठ पाए थे। न केवल इंफ्रास्ट्रक्चर में भेदभाव हुआ है। पीएम ने बड़े पैमाने पर गांव गोद लिए थे, अगर उस गांव की तस्वीर न बदले तो क्या कहेंगे। मुझे वो गांव जिसको उन्होंने गोद लिया जो पीएम की आदर्श योजना थी उसके तहत वो 5 वर्ष पहले खूब शोर हुआ था। हकीकत में कुछ नहीं हुआ। उसकी दुर्दशा वैसी की ही वैसी है। टूटी सड़कें, कच्ची पगडंडिया, उखड़े और टूटे हुए ईंट, बदहाल हैंडपैंप।
‘सरकार नौकरी नहीं देना चाहती, इसलिए पेपर लीक’
सपा मुखिया ने कहा कि देश की सबसे प्रतिष्ठित परीक्षा का भी पेपर लीक हो गया। सच्चाई तो ये है कि ये सरकार पेपर लीक इसलिए करा रही है कि सरकार नौकरी नहीं देना चाहती है। नौजवानों का भविष्य नहीं देना चाहती है। जनता न तो अब किसी के बहकावे में आएगी न किसी के बहलावे फुसलावे में आएगी। अब जब बात होगी तो सच्ची बात होगी और जनता को पूरी सच्चाई और जिम्मेदारी के साथ हमलोग बात रखेंगे। एक जीत और हुई है। मैं जानता हूं कि सत्ता पक्ष मैं बैठे वाले समझ गए होंगे। अयोध्या की जीत भारत के परिपक्व मतदाता की लोकतांत्रिक समझ की जीत है। और हम तो अध्यक्ष महोदय यही सुनते आए हैं कि होए वही जो राम रचि रखा। ये है उसका फैसला जिसकी लाठी में नहीं होती थी आवाज। जो करते थे किसी के लाने का दावा वो खुद है किसी सहारे के मोहताज। जो असत्य पर सत्य की जीत है नाम वो अवध के राजा मर्यादा पुरुषोत्तम श्री राम हम अयोध्या से लाए हैं उनके प्रेम का पैगाम जो सच्चे मन से करते हैं सबका कल्याण सदियों में जन जन गाता है जिनका गान अभयदान देती जिनकी मंद-मंद मुस्कान, मानवता के लिए उठता जिनका तीर कमान जो असत्य पर सत्य की जीत का है नाम जो उफनती नदी पर बांधे मर्यादा के बांध।
हम जाति जनगणना के पक्ष में- अखिलेश
अखिलेश यादव ने कहा कि जाति जनगणना के पक्ष में हैं। बिना जाति जनगणना के सामाजिक न्याय नहीं आ पाएगा। अग्निवीर को लेकर चिंता वैसी की वैसी बनी हुई है। मैं खुद सैनिक स्कूल से पढ़ा हूं। मेरे साथ के बहुत बड़े पैमाने पर लोग फौज में हूं। मैं सीनियर से जानकारी हासिल की है वो शायद आपको न बता पाएं लेकिन दबी जुबां में उन्होंने कहा कि देश की सुरक्षा के साथ अग्निवीर से समझौता हो रहा है। देश की सीमाओं की सुरक्षा अहम है। अग्निवीर व्यवस्था को हम कभी स्वीकार नहीं करेंगे। जब कभी सत्ता में इंडिया गठबंधन आएगा अग्निवीर योजना खत्म हो जाएगा।
‘ओल्ड पेंशन स्कीम की डिमांड’
सपा सांसद ने कहा कि अगर सरकार की तरफ से एक भी मंडी 10 साल में बनी है तो सरकार जरूर बताए तो उसपर एमएसपी पर कैसे भरोसा कर लें। ओपीएस की बात राष्ट्रपति के अभिभाषण में नहीं आई। ओल्ड पेंशन स्कीम लागू हो, तो इस सरकार ने नौजवानों को नौकरी नहीं दी है। नौकरी और रोजगार छीनी गई है। इसलिए मैं कहना चाहता हूं कि आपके राज में तो नौकरी की उम्मीद है न रोजगार क्योंकि आपने छोटे कारोबारी तक को इतना छोटा बना दिया है। जो पद निकलते भी हैं तो उन पर लेटरल एंट्री के नाम पर कुछ खास लोगों को रख लिया जाता है। आरक्षण के साथ इस सरकार ने काफी खिलवाड़ किया है। जहां सरकारी नौकरियां नहीं दी जा रही हैं और सरकारी नौकरियां इसलिए नहीं दी जा रही है क्योंकि उन्हें आरक्षण देना पड़ेगा।
‘जुमलों की जगह सच में मूलभूत मुद्दों का समाधान होगा’
अखिलेश यादव ने आगे कहा कि आशा है ये सरकार जबतक चलेगी तब तक उसके केंद्र में इस देश के गरीब, शोषित, वंचित, पीड़ित, पिछड़ा, दलित, अल्पसंख्यक, आदिवासी, महिला, युवा, ईमानदार नौकरी पेशा, आम आदमी, मजदूर और किसान होगा न कि धनवान होगा। शान के आधार पर समाधान होगा और जुमलों की जगह सच में महंगाई, बेरोजगारी, भ्रष्टाचार, गरीबी, भुखमरी, सांप्रदायिक हिंसा, दलित और महिला उत्पीड़न, सामाजिक अन्याय जैसे मूलभूत मुद्दों का समाधान होगा।
यूपी जनता को अखिलेश ने क्यों दिया धन्यवाद
अखिलेश यादव ने कहा कि भोजन, बिजली, पानी, दवाई, पढ़ाई जैसी बुनियादी जरूरतों के लिए कागजी योजनाओं की जगह सच में इंतजाम होगा। मैं एकबार फिर उत्तर प्रदेश की समझदार जनता की ओर से सबसे बड़ी पार्टी चुने जाने के साथ-साथ इंडिया गठबंधन समाजवादी पार्टी और कांग्रेस को सबसे ज्यादा सीटें जितवाईं, उसके लिए यूपी की जनता का बहुत बहुत धन्यवाद प्रकट करूंगा। मुझे उम्मीद है कि अगली बार जब राष्ट्रपति का अभिभाषण हो तो वो सरकारी भाषण न हो।