Byju’s Crisis: नकदी संकट से जूझ रहे एडटेक स्टार्टअप Byju’s पर नेशनल कंपनी लॉ ट्राइब्यूनल (NCLT), बेंगलुरु पीठ ने 20000 रुपये का जुर्माना लगाया गया है। स्टार्टअप ने कई मौके दिए जाने के बावजूद सर्फर टेक्नोलॉजी (Surfer Technology) की ओर से दायर दिवालिया याचिका पर अपना जवाब दाखिल नहीं किया। इसी के चलते NCLT ने जुर्माना लगाया है। NCLT पीठ ने Byju’s के वकीलों से कहा, ‘हम आपके जवाब पर तभी विचार करेंगे, जब आप जुर्माना जमा कर देंगे।’
ट्राइब्यूनल ने फरवरी में सर्फर की याचिका पर Byju’s को नोटिस जारी किया था और Byju’s ने 2 बार जवाब दाखिल करने के लिए समय मांगा था। लेकिन समय मिलने के बाद भी स्टार्टअप ने जवाब दाखिल नहीं किया। ट्राइब्यूनल पहले याचिका पर प्रतिक्रिया दाखिल करने के Byju’s के अधिकार को खत्म करना चाहता था, लेकिन फिर उसने जुर्माना लगाने के बाद जवाब दाखिल करने की इजाजत दे दी।
Byju’s के वकीलों की सफाई
Byju’s के वकीलों का कहना था कि कंपनी से निर्देश मिलने में देरी हुई है और वे 3 दिनों में याचिका पर जवाब दाखिल करेंगे, लेकिन NCLT उनके जवाब से संतुष्ट नहीं था। फरवरी में Surfer Technology ने शिकायत की थी कि Byju’s पर उसका 2.3 करोड़ रुपये बकाया है और यह सब स्वीकृत कर्ज है।
Byju’s राइट्स इश्यू के मसले पर अब 6 जून को सुनवाई
Byju’s के राइट्स इश्यू के मसले पर NCLT में 23 अप्रैल को सुनवाई हुई और राइट्स इश्यू के जरिए जुटाई गई राशि के इस्तेमाल पर रोक को अगली सुनवाई तक बरकरार रखा गया है। NCLT की बेंगलुरु पीठ ने Byju’s की पेरेंट कंपनी थिंक एंड लर्न के निवेशकों के साथ-साथ कंपनी मैनेजमेंट का भी पक्ष सुना और इस मामले की अगली सुनवाई के लिए 6 जून की तारीख तय की। पीठ ने साल की शुरुआत में अपने आदेश में कहा था कि राइट्स इश्यू के जरिये जुटाई गई राशि एक अलग एस्क्रो खाते में रखी जाए और मामले का निपटारा न होने तक इस राशि को न निकाला जाए।