नई दिल्ली (New Delhi) 16 जनवरी (The News Air) : डिजिटल इंडिया (Digital India) के दृष्टिकोण को साकार करने की दिशा में एक और बड़ा कदम उठाते हुए, प्रशासनिक सुधार और लोक शिकायत विभाग (DARPG) ने सेवा का अधिकार (Right to Service – RTS) आयुक्तों और मुख्य आयुक्तों की एक राष्ट्रीय बैठक आयोजित की। इस बैठक का उद्देश्य ई-सेवाओं (E-Services) को बढ़ावा देना और नागरिक सेवा वितरण (Service Delivery) में सुधार लाना था।
बैठक की मुख्य बातें: राज्यों के बीच बेस्ट प्रैक्टिस साझा करते हुए, हरियाणा (Haryana), राजस्थान (Rajasthan), और बिहार (Bihar) की सफल परियोजनाओं को राष्ट्रीय मॉडल के रूप में प्रस्तुत किया गया।
- हरियाणा की ऑटो-अपील प्रणाली (Auto Appeal System): यह प्रणाली सेवा वितरण में पारदर्शिता और समयबद्धता सुनिश्चित करती है।
- राजस्थान का संपर्क 181 कॉल सेंटर (Sampark 181 Call Center): आम नागरिकों की शिकायतों को सुचारू रूप से संबोधित करने के लिए एक प्रभावी मंच।
- बिहार प्रशासनिक सुधार मिशन सोसाइटी (Bihar Administrative Reform Mission Society): तकनीकी समाधान के जरिए शिकायत निवारण की अनूठी पहल।
टेक्नोलॉजी के जरिए बढ़ रही ई-सेवाएं:
ई-सेवाओं की संख्या में उल्लेखनीय वृद्धि देखी गई है। साल 2024 में कुल 18500 ई-सेवाएं उपलब्ध हुईं, जो देश में प्रदान की जाने वाली कुल सेवाओं का 74% हिस्सा हैं। यह आंकड़ा दिखाता है कि प्रौद्योगिकी का उपयोग सेवा वितरण में एक नए युग की शुरुआत कर रहा है।
ई-सेवाओं के फायदे:
- नागरिकों और सरकार के बीच संवाद को सरल और तेज़ बनाना।
- भ्रष्टाचार पर अंकुश लगाना और पारदर्शिता बढ़ाना।
- सेवाओं तक आसान पहुंच और शिकायत निवारण।
अधिकारियों और राज्यों की भागीदारी: बैठक की अध्यक्षता डीएआरपीजी सचिव (DARPG Secretary) ने की। महाराष्ट्र (Maharashtra), हरियाणा (Haryana), पंजाब (Punjab), चंडीगढ़ (Chandigarh), उत्तराखंड (Uttarakhand), असम (Assam), और मेघालय (Meghalaya) सहित विभिन्न राज्यों के प्रमुख अधिकारियों ने इस बैठक में भाग लिया।
राजस्थान सरकार के सूचना प्रौद्योगिकी विभाग के वरिष्ठ महाप्रबंधक (Senior General Manager) और बिहार सरकार के अपर मुख्य सचिव (Additional Chief Secretary) ने अपने अनुभव साझा किए।
बैठक के माध्यम से राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों ने अपनी श्रेष्ठ कार्यप्रणालियों को साझा कर सेवा वितरण को नए स्तर पर ले जाने का संकल्प लिया। ई-सेवाओं के बढ़ते प्रभाव से नागरिक और सरकार के बीच दूरी घट रही है, जिससे पारदर्शिता और कुशलता को बढ़ावा मिल रहा है।
यह पहल डिजिटल इंडिया के विजन को और सशक्त करेगी और नागरिकों को बेहतर, तेज और पारदर्शी सेवाएं प्रदान करेगी।