8th Pay Commission Update: नए साल का आगाज केंद्रीय कर्मचारियों और पेंशनभोगियों के लिए उम्मीदों भरा रहा है। मोदी सरकार ने लाखों कर्मचारियों की पुरानी मांग को मानते हुए 8वें वेतन आयोग (8th Pay Commission) के गठन को मंजूरी दे दी है। रिटायर्ड जस्टिस रंजना प्रकाश देसाई को इसका चेयरपर्सन नियुक्त किया गया है। लेकिन सबसे बड़ा सवाल यह है कि क्या सैलरी तुरंत बढ़ने वाली है? जवाब है—नहीं। कर्मचारियों को अभी थोड़ा और धैर्य रखना होगा।
सैलरी बढ़ने में अभी क्यों होगी देरी?
सरकार ने आयोग का गठन तो कर दिया है, लेकिन इसकी सिफारिशें लागू होने में वक्त लगेगा। नियम के मुताबिक, आयोग को अपनी रिपोर्ट तैयार करने और सौंपने के लिए करीब 18 महीने का समय दिया गया है। इसका मतलब है कि 1 जनवरी 2026 से नई सैलरी तुरंत नहीं मिलेगी। फिलहाल, कर्मचारियों को 7वें वेतन आयोग के हिसाब से ही वेतन और भत्ते मिलते रहेंगे।
हालांकि, अच्छी खबर यह है कि आयोग की सिफारिशें 1 जनवरी 2026 से ही प्रभावी मानी जाएंगी। यानी जब भी नई सैलरी लागू होगी, कर्मचारियों को पिछली तारीख (1 जनवरी 2026) से पूरा एरियर (Arrears) एकमुश्त मिलेगा। यह एक बड़ी रकम हो सकती है।
कितनी बढ़ सकती है सैलरी? (फिटमेंट फैक्टर का गणित)
हर वेतन आयोग में सैलरी बढ़ोतरी का मुख्य आधार ‘फिटमेंट फैक्टर’ (Fitment Factor) होता है।
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6वां वेतन आयोग: फिटमेंट फैक्टर 1.86 था, जिससे बेसिक सैलरी में करीब 1.86 गुना बढ़ोतरी हुई थी।
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7वां वेतन आयोग: फिटमेंट फैक्टर 2.57 था, जिससे सैलरी 2.57 गुना बढ़ी।
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8वां वेतन आयोग (अनुमानित): विशेषज्ञों का मानना है कि इस बार फिटमेंट फैक्टर 1.92 से 2.15 के बीच हो सकता है। कुछ अनुमान इसे 2.57 से भी ज्यादा बता रहे हैं। अगर ऐसा होता है, तो बेसिक सैलरी में 20% से 35% तक का उछाल आ सकता है।
संपादकीय विश्लेषण: धैर्य का फल मीठा होगा
एक वरिष्ठ संपादक के नजरिए से देखें तो यह खबर कर्मचारियों के लिए राहत और चुनौती दोनों है। राहत इसलिए कि सरकार ने प्रक्रिया शुरू कर दी है, अब यह अफवाह नहीं हकीकत है। चुनौती यह है कि महंगाई के दौर में उन्हें अभी पुरानी सैलरी से ही काम चलाना होगा। लेकिन भविष्य सुरक्षित है। 18 महीने बाद जब रिपोर्ट आएगी और एरियर मिलेगा, तो वह एक बड़ी वित्तीय मदद साबित होगी। यह आयोग केवल सैलरी नहीं, बल्कि पेंशनर्स की भी सुध लेगा, जो बुजुर्गों के लिए बड़ी राहत की बात है।
कौन होगा दायरे में?
8वां वेतन आयोग केवल केंद्र सरकार के कर्मचारियों और पेंशनभोगियों पर लागू होगा। इसमें सेना, रेलवे और अन्य केंद्रीय विभागों के कर्मचारी शामिल हैं। राज्य सरकारों के कर्मचारी इसके दायरे में सीधे नहीं आते, लेकिन आमतौर पर राज्य भी केंद्र की तर्ज पर बाद में अपने आयोग गठित करते हैं।
जानें पूरा मामला
क्या है पृष्ठभूमि: केंद्रीय कर्मचारी लंबे समय से 8वें वेतन आयोग की मांग कर रहे थे। आमतौर पर हर 10 साल में एक नया वेतन आयोग आता है। 7वां वेतन आयोग 1 जनवरी 2016 को लागू हुआ था, इसलिए 8वें आयोग की सिफारिशें 1 जनवरी 2026 से लागू होनी चाहिए। सरकार ने सही समय पर कदम उठाते हुए कमेटी बना दी है, जिसमें आईएएस पंकज जैन और आईआईएम के प्रोफेसर पुलक घोष जैसे दिग्गज शामिल हैं।
‘मुख्य बातें (Key Points)’
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8th Pay Commission के गठन को कैबिनेट की मंजूरी, जस्टिस रंजना देसाई बनीं चेयरपर्सन।
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आयोग को रिपोर्ट सौंपने के लिए 18 महीने का समय मिला है।
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नई सैलरी 1 जनवरी 2026 से प्रभावी मानी जाएगी, एरियर मिलेगा।
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फिटमेंट फैक्टर के आधार पर सैलरी में 20% से 35% तक बढ़ोतरी संभव।
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यह आयोग सेवारत कर्मचारियों और पेंशनर्स दोनों के लिए है।
FAQ – अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न








