1893 में ग्रोवर क्लीवलैंड एक चुनाव हारने के बाद चुनाव जीतने वाले ने पूर्व राष्ट्रपति बने थे। डेमोक्रेटिक प्रत्याशी और वर्तमान उप राष्ट्रपति कमला देवी हैरिस चुनाव जीतती हैं तो अमेरिका के 236 साल पुराने चुनावी इतिहास की पहली महिला राष्ट्रपति होंगी। कुल मिलाकर अमेरिका के 47वें राष्ट्रपति का चुनाव ऐतिहासिक साबित होने वाला है।
21 जुलाई को मौजूदा राष्ट्रपति जो बाइडेन के चुनाव मैदान से हटने के बाद और कमला हैरिस की उम्मीदवारी के चलते ये अमेरिका का सबसे छोटा यानी लगभग साढ़े तीन महीने का चुनाव कैंपेन रहा है। वोटिंग वाले दिन यानी मंगलवार को ट्रम्प अपने गृह राज्य फ्लोरिडा में जबकि कमला हैरिस अपने गृह गृह राज्य कैलीफोर्निया में रहने वाली हैं।
पहली बार 15 करोड़ वोटर्स में से साढ़े 7 करोड़ वोट पड़ चुके हैं
अमेरिका में पहली बार 15 करोड़ वोटर्स में से साढ़े 7 करोड़ वोट पड़ चुके हैं। 2012 में साढ़े 4 करोड़ और 2016 में 4 करोड़ 70 लाख लोगों ने अर्ली वोटिंग की थी। 2020 में 10 करोड़ ने अलीं वोटिंग की थी, लेकिन ऐसा कोराना काल के कारण हुआ था। जब लोगों ने पोस्टल बैलेट का ज्यादा उपयोग किया था। इस बार की अर्ली वोटिंग 8 करोड़ का आंकड़ा पार हो सकती है। माना जा रहा है कि अली वोटिंग ट्रम्प के समर्थन हो रही है।
डोनाल्ड ट्रम्प ने रिपब्लिकन वोटरों को अर्ली वोटिंग के लिए उत्साहित किया। माना जाता है कि रिपब्लिकन वोटर ऐन वोटिंग वाले दिन ही वोट करने के लिए निकलते हैं। अली वोटिंग ट्रम्प की बड़ी रणनीति है जिससे कि उनके वोटर बाद के इलेक्शन स्विंग से प्रभावित नहीं होकर पक्ष में वोट दें।
वोटिंग खत्म होते ही गिनती शुरू हो जाएगी
अमेरिका में 5 नवंबर यानी मंगलवार को वोटिंग है। शाम 5 बजे वोटिंग खत्म होते ही गिनती शुरू हो जाएगी। यानी भारतीय समयानुसार 6 नवंबर यानी बुधवार शाम लगभग 7 बजे से नतीजे आने शुरू हो जाएंगे। अमेरिका में भारत के जैसे कोई संघीय निर्वाचन आयोग नहीं है। सभी 50 राज्य अपने-अपने राज्य का नतीजा घोषित करते हैं। ऐसे में पूरे नतीजे आने में देरी हो सकती है। 2020 में ट्रम्प समर्थकों द्वारा कई राज्यों में गिनती के दौरान आपत्तियां दर्ज कराने के कारण 12 नवंबर तक अंतिम नतीजे आए थे। सबसे अंत में पेन्सिलवेनिया का रिजल्ट आया था।