North India Cold Wave and Fog Alert – उत्तर भारत में ठंड का कहर अपने चरम पर है। राजधानी दिल्ली समेत पूरा उत्तर भारत घने कोहरे (Dense Fog) और कंपा देने वाली ठंड की चपेट में है। हालात इतने खराब हैं कि दिन में भी सूरज के दर्शन दुर्लभ हो गए हैं। भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने स्थिति की गंभीरता को देखते हुए दिल्ली के लिए 30 दिसंबर को ‘ऑरेंज अलर्ट’ (Orange Alert) और 31 दिसंबर को ‘येलो अलर्ट’ (Yellow Alert) जारी किया है। नए साल का जश्न मनाने की तैयारी कर रहे लोगों के लिए एक बुरी खबर यह है कि 1 जनवरी को दिल्ली-एनसीआर में बारिश हो सकती है, जो रंग में भंग डाल सकती है।
1 जनवरी को भीग सकता है दिल्ली का जश्न
मौसम विभाग और स्काईमेट वेदर (Skymet Weather) के अनुसार, एक सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ (Western Disturbance) उत्तर भारत की ओर बढ़ रहा है। इसका असर 30 दिसंबर से 2 जनवरी तक देखने को मिलेगा। इसके चलते 31 दिसंबर की शाम से बादल छा सकते हैं और 1 जनवरी को दिल्ली, हरियाणा और पश्चिमी उत्तर प्रदेश में हल्की बारिश या बूंदाबांदी हो सकती है। बारिश के बाद तापमान में 3 से 4 डिग्री की गिरावट आने की संभावना है, जिससे ठंड और ठिठुरन बढ़ेगी।
प्रदूषण और कोहरे का ‘कातिलाना’ कॉकटेल
दिल्ली वाले सिर्फ ठंड से ही नहीं, बल्कि जहरीली हवा से भी जूझ रहे हैं। राजधानी का एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) 418 पर बना हुआ है, जो ‘गंभीर’ श्रेणी में आता है। गाजियाबाद में तो हालात और भी बदतर हैं, जहां AQI 582 तक पहुंच गया है। कोहरे और कम हवा की गति ने प्रदूषकों को वातावरण में कैद कर दिया है, जिससे सांस लेना भी मुश्किल हो रहा है।
पहाड़ों पर बर्फबारी, मैदानों में शीतलहर
पहाड़ी राज्यों हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड में नए साल से पहले बर्फबारी (Snowfall) का अलर्ट है। शिमला मौसम विज्ञान केंद्र ने बताया है कि 30 दिसंबर से 2 जनवरी के बीच राज्य के कई हिस्सों में बर्फबारी और बारिश हो सकती है। मैदानी इलाकों में इसका सीधा असर शीतलहर (Cold Wave) के रूप में दिखेगा। राजस्थान के चूरू, सीकर और बीकानेर जैसे शहरों में घना कोहरा और शीतलहर चलने की चेतावनी दी गई है।
विश्लेषण: मौसम की मार और स्वास्थ्य पर वार (Expert Analysis)
यह मौसम न केवल जश्नों पर असर डालेगा, बल्कि स्वास्थ्य के लिए भी एक बड़ी चुनौती है। डॉ. आर.के. जेनामणि (IMD) के अनुसार, दृश्यता (Visibility) शून्य के करीब पहुंच सकती है, जिससे सड़क और हवाई यातायात बाधित होगा। प्रदूषण और ठंड का यह मिश्रण अस्थमा और दिल के मरीजों के लिए घातक साबित हो सकता है। पश्चिमी विक्षोभ के कारण होने वाली बारिश भले ही प्रदूषण से थोड़ी राहत दे, लेकिन इसके बाद आने वाली शीतलहर लोगों की मुश्किलें और बढ़ाएगी।
आम आदमी पर असर (Human Impact)
घने कोहरे के कारण ट्रेनों और उड़ानों की देरी आम बात हो गई है, जिससे यात्रियों को भारी परेशानी हो रही है। बाजारों में हीटर और गर्म कपड़ों की मांग बढ़ गई है, लेकिन गरीब और बेघर लोगों के लिए यह समय किसी अग्निपरीक्षा से कम नहीं है। नए साल की पार्टियों के लिए बाहर निकलने वालों को बारिश और ठंड से बचने के इंतजाम करने होंगे।
जानें पूरा मामला (Background)
हर साल दिसंबर के अंत और जनवरी की शुरुआत में उत्तर भारत में कड़ाके की ठंड पड़ती है। इस बार पश्चिमी विक्षोभ की सक्रियता ने मौसम को और अनिश्चित बना दिया है। यह विक्षोभ भूमध्य सागर से उठने वाली नमी वाली हवाएं हैं, जो उत्तर भारत में सर्दियों में बारिश और पहाड़ों पर बर्फबारी का मुख्य कारण बनती हैं।
मुख्य बातें (Key Points)
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Delhi में 30 दिसंबर को ऑरेंज और 31 को येलो अलर्ट जारी।
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1st January को दिल्ली-एनसीआर में हल्की बारिश की संभावना।
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प्रदूषण का स्तर Severe श्रेणी में, गाजियाबाद में AQI 582 पहुंचा।
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Western Disturbance के कारण पहाड़ों पर बर्फबारी और मैदानों में बारिश होगी।
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यूपी, बिहार और राजस्थान में Dense Fog और शीतलहर का अलर्ट।
FAQ – अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न






