Kanya Sumangala Yojana Rules: उत्तर प्रदेश के बागपत में बेटियों के बेहतर भविष्य के लिए चलाई जा रही सरकारी योजना को लेकर प्रशासन बेहद सख्त हो गया है। हजारों बेटियों के खातों में अगली किस्त भेजने से पहले विभाग अब घर-घर जाकर एक बड़ी जांच शुरू करने वाला है, जिससे कई परिवारों की धड़कनें बढ़ सकती हैं।
तीसरे बच्चे की किलकारी गूंजी तो योजना से बाहर
बागपत में Kanya Sumangala Yojana के तहत 18,911 बेटियों के बैंक खातों में पैसा भेजा जा रहा है, लेकिन यह लाभ केवल उन परिवारों तक सीमित है जो जनसंख्या नियंत्रण के नियमों का पालन कर रहे हैं। विभाग ने स्पष्ट कर दिया है कि इस योजना का फायदा तभी मिलेगा जब लाभार्थी बेटी के कुल भाई-बहनों की संख्या दो से ज्यादा न हो। यदि किसी घर में तीसरे बच्चे की किलकारी गूंजती है या सत्यापन के दौरान तीसरा भाई-बहन मिलता है, तो उस बेटी को तुरंत योजना से बाहर कर दिया जाएगा।
13 हजार परिवारों के घर पहुंचेंगे अधिकारी
योजना के अगले चरण का लाभ देने के लिए विभाग ने कमर कस ली है। अब 13,120 बेटियों के भाई-बहनों का सत्यापन (Verification) किया जाएगा। इसमें ग्रामीण क्षेत्र की 5,444 और शहरी क्षेत्र की 7,676 बेटियां शामिल हैं। पैसा जारी करने से पहले अधिकारी खुद इन लाभार्थियों के घर दस्तक देंगे। उनका मुख्य काम यह पता लगाना होगा कि योजना में शामिल होने के बाद परिवार में किसी तीसरे बच्चे ने जन्म तो नहीं लिया है।
छह चरणों में मिलते हैं 25 हजार रुपये
इस योजना के तहत पात्र बेटियों को कुल 25,000 रुपये की आर्थिक सहायता छह अलग-अलग चरणों में दी जाती है। यह पैसा सीधे बेटी के बैंक खाते में जमा होता है:
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पहला चरण: बेटी के जन्म लेने पर।
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दूसरा चरण: एक साल के भीतर पूर्ण टीकाकरण होने पर।
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तीसरा चरण: कक्षा प्रथम में प्रवेश लेने पर।
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चौथा चरण: कक्षा 6 में प्रवेश पर।
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पांचवां चरण: कक्षा 9 में प्रवेश लेने पर।
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छठा चरण: आगे की पढ़ाई या डिग्री जारी रखने पर।
नियमों पर सख्त है महिला कल्याण विभाग
महिला कल्याण विभाग की सामाजिक कार्यकर्ता रेनू ने इस सख्ती की पुष्टि की है। उन्होंने बताया कि जांच के दौरान यदि किसी परिवार में दो से ज्यादा भाई-बहन मिलते हैं, तो संबंधित बेटी को आगे के चरणों का लाभ नहीं दिया जाएगा। प्रशासन का पूरा जोर इस बात पर है कि योजना का पैसा सही और नियम मानने वाले पात्रों तक ही पहुंचे।
मुख्य बातें (Key Points)
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बागपत में 13,120 बेटियों का भौतिक सत्यापन (Physical Verification) शुरू होगा।
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तीसरा भाई-बहन होने पर कन्या सुमंगला योजना का लाभ बंद कर दिया जाएगा।
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योजना के तहत बेटियों को कुल 25,000 रुपये 6 किस्तों में मिलते हैं।
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ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों में अधिकारी घर-घर जाकर जांच करेंगे।






