पटना (Patna) और इंफाल (Imphal) 22 जनवरी (The News Air): बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (Nitish Kumar) की अगुवाई वाली जनता दल यूनाइटेड (JDU) ने मणिपुर (Manipur) में भारतीय जनता पार्टी (BJP) के नेतृत्व वाली सरकार से अपना समर्थन वापस लेने का ऐलान कर दिया है। इस कदम से केंद्र और बिहार में सत्तारूढ़ BJP के लिए चिंता बढ़ गई है।
जनता दल यूनाइटेड के इस फैसले की पुष्टि मणिपुर इकाई के अध्यक्ष क्षेत्रीमयुम बीरेन सिंह (Kshetrimayum Biren Singh) ने की। उन्होंने मुख्यमंत्री एन. बीरेन सिंह (N. Biren Singh) को एक आधिकारिक पत्र लिखकर सूचित किया कि JDU अब उनकी सरकार का समर्थन नहीं करेगी।
“हम अब विपक्ष में हैं”: JDU विधायक अब्दुल नासिर का बयान : JDU के एकमात्र विधायक मोहम्मद अब्दुल नासिर (Mohammad Abdul Nasir) को अब मणिपुर विधानसभा में विपक्षी विधायक के रूप में गिना जाएगा। यह फैसला तब आया है जब JDU और BJP के बीच तनाव की खबरें तेज हो रही थीं।
JDU के पत्र में स्पष्ट किया गया है, “हमारी पार्टी अब BJP के नेतृत्व वाली राज्य सरकार का समर्थन नहीं करती।” इस घोषणा के साथ JDU ने मणिपुर की राजनीति में हलचल मचा दी है।
BJP के लिए संकेत: क्या बढ़ेगी टेंशन? : यह फैसला उस समय आया है जब नीतीश कुमार और बीजेपी के बीच संबंधों में खटास की खबरें पहले से चर्चा में थीं। बिहार में JDU और BJP का गठबंधन भले ही बरकरार है, लेकिन मणिपुर में JDU का यह कदम गठबंधन की स्थिरता पर सवाल खड़े कर रहा है।
विशेषज्ञों का मानना है कि JDU के इस फैसले का प्रभाव केवल मणिपुर तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि बिहार और केंद्र की राजनीति में भी इसके परिणाम देखे जा सकते हैं।
नीतीश कुमार का बड़ा खेल या दबाव की राजनीति? : नीतीश कुमार, जो अपनी सधी हुई राजनीतिक रणनीतियों के लिए जाने जाते हैं, ने यह कदम क्यों उठाया, इस पर अलग-अलग मत हैं।
- कुछ राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि JDU का यह कदम BJP पर दबाव बनाने की कोशिश हो सकता है।
- वहीं, कुछ इसे नीतीश कुमार के लंबे समय से चल रहे राष्ट्रीय राजनीति में अपनी स्थिति मजबूत करने की रणनीति मानते हैं।
JDU-BJP के रिश्तों पर क्या असर पड़ेगा? : मणिपुर में JDU का यह कदम उन अटकलों को हवा दे रहा है कि बिहार में भी दोनों पार्टियों के बीच खटास बढ़ सकती है। हालांकि, इस पर BJP की ओर से अभी कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है।
नीतीश कुमार के नेतृत्व वाली JDU का मणिपुर में BJP से समर्थन वापस लेना एक बड़ा राजनीतिक घटनाक्रम है। यह फैसला केवल मणिपुर की राजनीति तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि राष्ट्रीय स्तर पर भी इसकी गूंज सुनाई देगी। अब देखना यह होगा कि BJP इस स्थिति से कैसे निपटती है और JDU के इस कदम का अगला प्रभाव क्या होगा।