नई दिल्ली, 13 सितंबर,(The News Air): भारतीय मूल की एक वकील नबनिता नाग को अमेरिका की रेलरोड ट्रांसपोर्ट कंपनी नॉरफॉक साउदर्न ने इसलिए निकाल दिया क्योंकि उनके संबंध कंपनी के सीईओ से थे। वह अटलांटा की इस कंपनी में चीफ लीगल ऑफिसर थीं लेकिन कंपनी के सीईओ के साथ रिलेशनशिप उनके रास्ता का रोड़ा बन गया। नबनिता पर यह कार्रवाई इस मामले में हुई एक जांच के बाद हुई है। सीईओ एलन शॉ को (Alan Shaw) को पहले ही कंपनी से बुधवार को निकाला जा चुका है। नबनिता और एलन के बीच सहमति से रिश्ता बना था। इसके बावजूद कंपनी का कहना है कि दोनों ने कंपनी की नीतियों और आचार संहिता का उल्लंघन किया है।
Goldman Sachs के साथ भी काम कर चुकी हैं नबनिता
लिंक्डनइन पर नबनिता ने लिखा है कि उन्होंने फॉर्च्यून के 300 सरकारी कंपनियों की सूची में शामिल तीन कंपनी के साथ काम किया है। वहीं नॉरफॉक साउदर्न में उनके कैरियर की बात करें तो नबनिता ने कंपनी करीब चार साल पहले वर्ष 2020 में जनरल काउंसल के तौर पर ज्वाइन किया था। इसके दो साल बाद वर्ष 2022 में वह सीनियर वाइस प्रेसिडेंट और चीफ लीगल ऑफिसर बन गईं। इसके बाद 2023 में वह कॉरपोरेट मामलों की एग्जेक्यूटिव वाइस प्रेसिडेंट और चीफ लीगल ऑफिसर बन गईं। इससे पहले उन्होंने गोल्डमैन सैक्स (Goldman Sachs) में जनरल काउंसल के तौर पर काम किया था।
एथिक्स पॉलिसी के उल्लंघन में फंसे सीईओ
कंपनी का कहना है कि एलन को कंपनी के परफॉरमेंस, फाइनेंशियल रिपोर्टिंग और कारोबारी नतीजे के चलते नहीं निकाला गया है बल्कि इसकी दूसरी वजह थी। न्यूज एजेंसी रॉयटर्स के मुताबिक एलल की जांच एक्टिविस्ट हेड फंड अंकोरा होल्डिंग्स के साथ एक विवादित प्रॉक्सी वॉर में एलन को जीत हासिल होने के बाद कुछ समय बाद शुरू हुई थी जिसके बाद कंपनी के 13 सदस्यों वाले बोर्ड में तीन नए निदेशकों की नियुक्ति हुई थी। रॉयटर्स के मुताबिक एग्जेक्यूटिव्स और वकील एलन के सेवरेंज पैकेजेज पर चर्चा करने लगे थे।
कंपनी के सीएफओ मार्क जॉर्ज ने इस बात की अंदरुनी तौर पर जांच शुरू कर दी कि एलन ने कंपनी के एथिक्स पॉलिसीज का उल्लंघन किया है। कंपनी ने मॉर्क जॉर्ज को प्रेसिडेंट और सीईओ भी बना दिया और रविवार को यह स्वीकार भी किया कि वह खुद को रिपोर्ट कर रही एक एंप्लॉयी के साथ सीईओ के अनुचित रिश्ते को लेकर जांच कर रही थी। एलन शॉ कंपनी के साथ कई दशकों से जुड़े हुए थे।