मोगा, 13 जनवरी (The News Air) पंजाब के मोगा (Moga) जिले में एक दर्दनाक घटना ने सबको झकझोर दिया। अमेरिका से बेहतर जिंदगी की तलाश में गए 32 वर्षीय गगनदीप सिंह (Gagandeep Singh) ने दो महीने पहले लौटने के बाद कर्जदारों से परेशान होकर आत्महत्या कर ली। उन्होंने अपनी लाइसेंसी रिवॉल्वर से खुद को गोली मार ली। उनके पीछे पत्नी और दो मासूम बच्चे रह गए हैं।
मोगा के राऊके गांव में घटना
यह घटना मोगा जिले के राऊके गांव (Rauke Village) की है।
- मृतक की पहचान: गगनदीप सिंह, उम्र 32 वर्ष।
- घटना का समय: 11 जनवरी की देर रात।
- पारिवारिक स्थिति: पत्नी सुखदीप कौर (Sukhdeep Kaur) और दो छोटे बच्चे।
गगनदीप अमेरिका (USA) में पांच साल तक संघर्ष करते रहे, लेकिन असफलता के चलते दो महीने पहले भारत लौट आए थे।
विदेश जाने के लिए लिया था भारी कर्ज
परिवार के अनुसार:
- अमेरिका जाने के लिए गगनदीप ने कई लोगों से मोटा कर्ज लिया था।
- भारत लौटने के बाद कर्जदार लगातार पैसों की मांग कर रहे थे।
- इस दबाव और मानसिक तनाव के कारण गगनदीप ने आत्महत्या जैसा कठोर कदम उठाया।
पुलिस की कार्रवाई और जांच
थाना मुखी बधनी कला (Badhni Kalan) के इंचार्ज गुरमेल सिंह (Gurmail Singh) ने बताया:
- गगनदीप ने 11 जनवरी की रात अपनी लाइसेंसी रिवॉल्वर से खुद को गोली मार ली।
- पुलिस ने मृतक की पत्नी सुखदीप कौर के बयान दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी है।
- शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है।
कर्ज और मानसिक तनाव बना आत्महत्या की वजह : गगनदीप सिंह ने बेहतर जीवन के सपने के लिए विदेश की राह पकड़ी थी। लेकिन वहां असफलता के बाद भारत लौटने पर उन्हें कर्जदारों का सामना करना पड़ा।
- आर्थिक संकट: कर्ज चुकाने का दबाव उन्हें मानसिक रूप से कमजोर बना रहा था।
- पारिवारिक तनाव: पत्नी और बच्चों की जिम्मेदारी के बावजूद वे इस संकट से बाहर नहीं निकल सके।
क्या कहती है यह घटना? : मोगा की यह घटना उन लोगों के लिए एक सबक है जो विदेश में सफलता की चाह में भारी कर्ज ले लेते हैं।
- विदेश में संघर्ष का सच:
हर कोई विदेश में सफल नहीं हो पाता।
- आर्थिक दबाव के नतीजे:
मानसिक स्वास्थ्य पर इसका गहरा असर पड़ सकता है।
- समाज की भूमिका:
कर्जदारों और समाज को आर्थिक संकट में घिरे लोगों के साथ संवेदनशील व्यवहार करना चाहिए।
गगनदीप सिंह की यह घटना आर्थिक और मानसिक तनाव के गंभीर परिणामों की ओर इशारा करती है। पंजाब में कर्ज और विदेश जाने की होड़ ने कई परिवारों को संकट में डाला है। समाज और सरकार को ऐसे मामलों पर ध्यान देना चाहिए ताकि ऐसे दुखद हादसे रोके जा सकें।