DK Shivakumar Controversy को लेकर कर्नाटक की राजनीति में हलचल मच गई है। कांग्रेस नेता और कर्नाटक के उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार (DK Shivakumar) महाशिवरात्रि के अवसर पर ईशा फाउंडेशन (Isha Foundation) के कार्यक्रम में शामिल हुए और वहां सद्गुरु जग्गी वासुदेव (Sadhguru Jaggi Vasudev) से मुलाकात की। इस कदम के बाद कांग्रेस के कई नेताओं ने उनकी आलोचना की और इसे पार्टी की धर्मनिरपेक्ष छवि के खिलाफ बताया।
‘मैं जन्म से हिंदू हूं और मरते दम तक हिंदू रहूंगा’ – DK Shivakumar
शिवकुमार ने इस मुद्दे पर जवाब देते हुए कहा कि यह उनका व्यक्तिगत मामला है और इसमें किसी को दखल देने की जरूरत नहीं है। उन्होंने कहा,
“यह मेरी व्यक्तिगत आस्था का विषय है। मैं सद्गुरु के व्यक्तिगत निमंत्रण पर ईशा फाउंडेशन गया था। इस पर किसी को सवाल उठाने की जरूरत नहीं है।”
उन्होंने आगे कहा,
“मैं जन्म से हिंदू हूं और हिंदू के रूप में ही मरूंगा। लेकिन मैं सभी धर्मों से प्यार करता हूं और उनका सम्मान करता हूं।”
शिवकुमार ने यह भी स्पष्ट किया कि उनके बीजेपी (BJP) में शामिल होने की अफवाहें गलत हैं और यह उनके खिलाफ एक साजिश है।
कांग्रेस में क्यों मचा हड़कंप?
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पीवी मोहन (PV Mohan) ने DK शिवकुमार की इस हरकत पर नाराजगी जताई। उन्होंने कहा,
“एक धर्मनिरपेक्ष पार्टी के अध्यक्ष होने के बावजूद, एक ऐसे व्यक्ति का धन्यवाद करना, जो हमारे नेता राहुल गांधी (Rahul Gandhi) का मखौल उड़ाता है और जिसका विचार RSS के एजेंडे से मेल खाता है, पार्टी कार्यकर्ताओं को गुमराह करता है।”
कांग्रेस के कई अन्य नेताओं ने भी शिवकुमार के इस कदम पर नाराजगी जाहिर की और कहा कि इससे पार्टी की छवि को नुकसान पहुंच सकता है।
ईशा फाउंडेशन जाने का क्या था कारण?
DK शिवकुमार ने स्पष्ट किया कि उनका ईशा फाउंडेशन दौरा केवल एक आध्यात्मिक यात्रा थी। उन्होंने कहा कि सद्गुरु ने व्यक्तिगत रूप से उन्हें महाशिवरात्रि कार्यक्रम में शामिल होने के लिए आमंत्रित किया था।
उन्होंने कहा,
“सद्गुरु ‘मिट्टी बचाओ’ अभियान और कावेरी नदी (Cauvery River) के संरक्षण के लिए लड़ रहे हैं। उन्होंने राज्य में बेहतरीन काम किया है, और मैं उनके कार्यक्रम में केवल आस्था और सम्मान के कारण गया था।”
क्या DK Shivakumar का BJP से जुड़ाव बढ़ रहा है?
राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि DK शिवकुमार के इस कदम से कांग्रेस में उनकी स्थिति कमजोर हो सकती है। हालांकि, उन्होंने इस बात को सिरे से खारिज कर दिया कि वे BJP के करीब जा रहे हैं।
उन्होंने कहा,
“मेरे खिलाफ गलत अफवाहें उड़ाई जा रही हैं। मैं कांग्रेस का हिस्सा था, हूं और रहूंगा। जाति या धर्म की राजनीति में मेरा विश्वास नहीं है।”
क्या कांग्रेस DK Shivakumar पर एक्शन लेगी?
फिलहाल, कांग्रेस आलाकमान इस पूरे विवाद पर नजर बनाए हुए है। हालांकि, पार्टी की ओर से कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है कि DK शिवकुमार पर कोई अनुशासनात्मक कार्रवाई होगी या नहीं।
DK शिवकुमार के महाशिवरात्रि पर ईशा फाउंडेशन जाने और उनके ‘मैं जन्म से हिंदू हूं और हिंदू रहूंगा’ बयान से कांग्रेस में हलचल मच गई है। पार्टी के कई नेता इस कदम से नाखुश हैं, लेकिन शिवकुमार ने इसे व्यक्तिगत आस्था का विषय बताया है। अब देखना यह होगा कि कांग्रेस इस मुद्दे पर आगे क्या रुख अपनाती है और क्या यह आगामी चुनावों में पार्टी की रणनीति को प्रभावित करेगा।