नई दिल्ली, 24 दिसंबर (The News Air): प्याज की कीमतों में आई भारी गिरावट ने किसानों की चिंता और बढ़ा दी है। महाराष्ट्र के नासिक जिले की लासलगांव प्याज मंडी में पिछले कुछ दिनों से प्याज की कीमतों में अप्रत्याशित गिरावट देखी जा रही है। 36 रुपये प्रति किलो से घटकर अब प्याज का दाम सिर्फ 17 रुपये 25 पैसे प्रति किलो हो गया है। इस गिरावट ने प्याज उत्पादक किसानों को संकट में डाल दिया है, क्योंकि उन्हें अपनी लागत निकालने में भी मुश्किलें आने लगी हैं।
क्या है प्याज की कीमतों में गिरावट का कारण? : लासलगांव मंडी में प्याज की आवक में भी बढ़ोतरी हुई है, और अब यहां हर दिन 25,000 बोरी प्याज आ रही है। 23 दिसंबर को 100 किलो प्याज का दाम 700 रुपये से लेकर 2851 रुपये के बीच था, जबकि 12 दिसंबर को यही प्याज 5001 रुपये प्रति क्विंटल तक बिक रहा था। ऐसे में प्याज की कीमतों में अचानक आई गिरावट ने किसानों को परेशान कर दिया है।
किसानों की बढ़ी हुई परेशानी : इस गिरावट के कारण, किसानों को भारी नुकसान हो रहा है। प्याज उत्पादक किसान सरकार से राहत की उम्मीद कर रहे हैं। किसानों की मांग है कि सरकार 20% एक्सपोर्ट ड्यूटी को हटा दे, ताकि वे अपनी उपज को विदेशों में बेच सकें और अपनी लागत निकाल सकें।
महाराष्ट्र सरकार की पहल : महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री अजीत पवार ने इस मामले को केंद्रीय वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल के सामने उठाया था और एक्सपोर्ट ड्यूटी हटाने की अपील की थी, लेकिन इस संबंध में अभी तक कोई ठोस जवाब नहीं आया है।
क्या होगा आगे? : प्याज की कीमतों में इस भारी गिरावट से न केवल किसान परेशान हैं, बल्कि यह आम उपभोक्ताओं के लिए भी एक चिंता का विषय बन सकता है, क्योंकि यदि कीमतों में अनियंत्रित उतार-चढ़ाव जारी रहता है, तो यह बाजार में भी अस्थिरता ला सकता है।
प्याज उत्पादक किसानों के लिए यह समय कठिनाइयों से भरा हुआ है। सरकार की तरफ से राहत की कोई ठोस योजना सामने न आने पर किसानों की स्थिति और भी बिगड़ सकती है। अब यह देखना होगा कि सरकार इस संकट से उबारने के लिए क्या कदम उठाती है।