नई दिल्ली, 25 जून (The News Air)
केंद्रीय शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक ने सी.बी.एस.ई की 10वीं एवं 12वीं बोर्ड परीक्षा परिणाम के संदर्भ में छात्रों की आशंकाओं को दूर करने का प्रयास करते हुए शुक्रवार को बताया कि विद्यार्थियों की योग्यता का पूरा ध्यान रखा जाएगा, साथ ही छात्रों की इच्छा के अनुरूप उन्हें परीक्षा देने का भी मौका दिया जाएगा, जो अगस्त माह में हो सकते है। सोशल मीडिया पर छात्रों को संबोधित करते हुए निशंक ने कहा कि उन्हें छात्रों के बहुत सारे संदेश एवं सूचनाएं लगातार मिल रही हैं। उनमें छात्रों के सवाल एवं कुछ आशंकाएं भी हैं, परन्तु अस्पताल में चल रहे अपने उपचार के कारण वह संवाद नहीं कर पा रहे थे।
केंद्रीय शिक्षा मंत्री ने छात्रों से कहा कि केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड ने इस संदर्भ में व्यापक दिशा निर्देश जारी किए हैं और वह सभी को प्राप्त हो चुके होंगे। उन्होंने कहा कि केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड ने ऐसी पद्धति तैयार की है, जिसमें सभी छात्रों की योग्यता एवं प्रखरता के अनुरूप परिणाम प्राप्त होगा।
निशंक ने कहा कि ‘मैं आश्वस्त करना चाहता हूं कि जो इस मूल्यांकन पद्धति से संतुष्ट नहीं हैं, उनके लिए वैकल्पिक परीक्षा करवाने को तैयार हैं।’ उन्होंने कहा कि अगर किसी छात्र को लगता है कि परिणाम उनकी योग्यता के अनुरूप नहीं है, तो हम उन्हें परीक्षा का मौका भी देंगे। परिस्थिति के अनुरूप उनके लिए अगस्त में परीक्षा करवाएंगे।” केंद्रीय शिक्षा मंत्री ने बताया कि छात्रों की सुरक्षा, स्वास्थ्य एवं भविष्य सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है।
गौरतलब है कि कोविड-19 महामारी के कारण सी.बी.एस.ई ने 10वीं और 12वीं कक्षा की परीक्षा को रद्द कर दिया था। बोर्ड ने परीक्षा परिणाम के संबंध में इन दोनों कक्षाओं के लिए वैकल्पिक मूल्यांकन नीति की घोषणा की है। स्कूलों से 10वीं कक्षा के अंक 30 जून तक जमा करवाने को कहा गया है, जबकि 12वीं कक्षा के लिए स्कूलों को 15 जुलाई की समय सीमा दी गई है। सी.बी.एस.ई दसवीं कक्षा, 11वीं कक्षा और 12वीं कक्षा के परिणामों के आधार पर 12वीं कक्षा के छात्रों के अंक मूल्यांकन में क्रमश: 30:30:40 के फार्मूले के अनुसार ही काम कर रहा है।