Cancer Symptoms: देश में बहुत से लोग पीठ दर्द की समस्या का सामना कर रहे है। किसी को यह दिक्कत कई सालों बाद होती है तो कुछ लोगों को काफी कम उम्र से ही इसकी परेशानी शुरू हो जाती है। आमतौर पर पीठ दर्द की समस्या मांसपेशियों की दिक्कत के कारण होती है। जैसे कभी गलत तरीके से सोने की वजह से या फिर कभी चोट लगने की वजह से ऐसा होने लगता है। कई बार तो पीठ दर्द सामान्य लगता है लेकिन अगर ये समस्या आपको बार-बार हो रही है तो इसे नजरअंदाज करना बिल्कुल भी ठीक नहीं है।
ज्यादातर लोग इसके लक्षणों को समय रहते समझ नहीं पाते हैं। जिसके कारण कैंसर का पता ही आखिर के चरणों में चल पाता है। जिससे इलाज और रोगी के बचने की संभावना बेहद कम हो जाती है। ऐसे में पीठ दर्द की समस्या को कभी भी इग्नोर नहीं करना चाहिए।
जानिए नॉर्मल दर्द से कैसे अलग होता है कैंसर का पीठ दर्द
नॉर्मल दर्द में पोजिशन बदलने के साथ दर्द आराम हो जाता है। थोड़ी देर इधर-उधर या कमर की एक्सरसाइज करने के साथ ही दर्द खत्म हो जाता है। लेकिन अगर लंग्स, ब्रेस्ट, कोलोन या टेस्टिकुलर कैंसर की वजह से पीठ में दर्द है तो यह दर्द जल्दी खत्म नहीं होता है। हालांकि कैंसर की स्थिति में पीठ में बहुत तेज दर्द नहीं होता. लेकिन इससे असहजता बहुत होती है। अगर आप ऐसे लक्षणों का सामना कर रहे हैं तो फौरन डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए। हालांकि आमतौर पर ज्यादातर मामलों में बैकपेन में कैंसर नहीं होता है। लेकिन डॉक्टर से मिलने के बाद ही पता चलेगा कि आखिर बैकपेन क्यों हो रहा है?
रीढ़ की हड्डी का कैंसर
पीठ में दर्द का एक संकेत रीढ़ की हड्डी का कैंसर भी हो सकता है। हालांकि एक्सपर्ट का मानना है कि यह काफी नामुमकिन है, लेकिन इसे इग्नोर नहीं करना चाहिए। अगर आपको कई महीनों से पीठ में दर्द बना रहता है तो हो सकता है कि यह स्पाइनल कैंसर का लक्षण हो। रीढ़ की हड्डी में एक ट्यूमर से भी पीठ दर्द की समस्या हो सकती है। अगर रीढ़ की हड्डी में कैंसर की वजह से दर्द है तो यह दर्द समय के साथ काफी बढ़ता जाएगा। इसके साथ ही आपके शरीर के दूसरे हिस्से जैसे कूल्हे, पैर और बांहों में भी यह दर्द फैल सकता है।