चंडीगढ़, 23 जुलाई (The News Air) विपक्ष के नेता प्रताप सिंह बाजवा ने रविवार को पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान से यह बताने की हिम्मत करने को कहा कि वह सतर्कता ब्यूरो की रिपोर्ट में ‘दागी’ पाए गए 48 राजस्व अधिकारियों के खिलाफ उचित कार्रवाई करने में क्यों विफल रहे।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता बाजवा ने कहा कि करीब एक महीने पहले पंजाब सतर्कता ब्यूरो ने पंजाब के मुख्य सचिव को एक रिपोर्ट सौंपी थी, जिसमें 28 तहसीलदारों, 19 नायब तहसीलदारों और राज्य के 17 जिलों के एक सब-रजिस्ट्रार सहित 48 राजस्व अधिकारियों की पहचान भ्रष्ट गतिविधियों में शामिल होने के लिए की गई थी।
उन्होंने कहा, ‘ऐसा लगता है कि रिपोर्ट को ठंडे बस्ते में डाल दिया गया है. जब से विजिलेंस ने अपनी रिपोर्ट मुख्य सचिव को सौंपी है, तब से आम आदमी पार्टी की सरकार की ओर से कुछ भी नहीं कहा गया है और न ही किया गया है। मुख्यमंत्री मान को इस बारे में पंजाब के लोगों को स्पष्टीकरण देना चाहिए। उन्हें उन लोगों का खुलासा करना चाहिए जो उन्हें रिपोर्ट पर आगे की कार्रवाई नहीं करने के लिए मजबूर कर रहे हैं। क्या आप सरकार कार्रवाई नहीं करके अपने एक कैबिनेट मंत्री को बचाने की कोशिश कर रही है?
विपक्ष के नेता ने कहा कि अब पंजाब राजस्व अधिकारी संघ ने आप विधायकों पर राजस्व विभाग के अधिकारियों का अनावश्यक अपमान करने का आरोप लगाया है। उन्होंने सोमवार से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर जाने की भी धमकी दी है।
पंजाब राजस्व अधिकारी संघ ने 48 राजस्व अधिकारियों को ‘भ्रष्ट’ बताने वाली सतर्कता रिपोर्ट को निराधार करार देते हुए विजीलैंस ब्यूरो के डीजीपी और सचिव के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है। इस बीच, यह पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान की जिम्मेदारी है कि वह इस मुद्दे पर वास्तविकता के साथ जनता के सामने जाएं।
बाजवा ने एक बयान में कहा कि भ्रष्टाचार को कतई बर्दाश्त नहीं करने के आप सरकार के बड़े-बड़े दावे और कुछ नहीं बल्कि प्रचार हासिल करने का नाटक है। वास्तव में, इस सरकार का भ्रष्टाचार पर अंकुश लगाने का कोई इरादा नहीं है। पार्टी ने अभी तक अपने ही नेताओं, विधायकों और कैबिनेट मंत्रियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं की है, जो भ्रष्ट गतिविधियों में शामिल थे, जिनमें लाल चंद कटारुचक, विजय सिंगला, फौजा सिंह सरारी, अमित रतन कोटफाटा, सरबजीत कौर मानुके और सुरिंदर कंबोज (आप विधायक गोल्डी कंबोज के पिता) शामिल हैं।






