Akali Dal President Election 2025 – शिरोमणि अकाली दल (Shiromani Akali Dal) में नेतृत्व परिवर्तन की प्रक्रिया ने रफ्तार पकड़ ली है। पार्टी को बैसाखी (Baisakhi) से पहले नया अध्यक्ष (New President) मिल सकता है। इसके लिए 8 अप्रैल को चंडीगढ़ (Chandigarh) स्थित पार्टी मुख्यालय में कार्यकारिणी की अहम बैठक (Executive Committee Meeting) बुलाई गई है। इस बैठक की अध्यक्षता कार्यकारी प्रधान बलविंदर सिंह भूंदड़ (Balwinder Singh Bhundar) करेंगे। बैठक का उद्देश्य नए अध्यक्ष और पदाधिकारियों के चुनाव की तारीख तय करना है।
इस संबंध में जानकारी डॉ. दलजीत सिंह चीमा (Dr. Daljit Singh Cheema) ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X (पूर्व Twitter) पर साझा की है। उन्होंने पोस्ट में लिखा कि 8 अप्रैल को दोपहर 2 बजे होने वाली बैठक में आम प्रतिनिधि सत्र की तिथियां तय होंगी, जिसके बाद चुनावी प्रक्रिया को अमलीजामा पहनाया जाएगा।
Shiromani Akali Dal has called a Working Committee meeting on April 8 at 2 PM at party HQ in Chandigarh to fix dates for General Delegate Sessions to elect the new President & office bearers. The meeting will be chaired by Working President S. Balwinder Singh Bhundar.
— Dr Daljit S Cheema (@drcheemasad) April 6, 2025
श्री अकाल तख्त साहिब (Sri Akal Takht Sahib) द्वारा सुखबीर सिंह बादल (Sukhbir Singh Badal) को तनखाहिया (Tankhaahiya) घोषित किए जाने के बाद, उन्होंने शिरोमणि अकाली दल के अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया था। इसके बाद से पार्टी की कमान कार्यकारी रूप से बलविंदर सिंह भूंदड़ संभाल रहे हैं। लेकिन अब पार्टी के अंदर पूर्णकालिक प्रधान के चुनाव की ज़रूरत महसूस की जा रही है।
अकाली दल के संविधान के अनुसार, पहले पार्टी में सदस्यता (Membership) प्राप्त की जाती है, उसके बाद लगभग 543 डेलीगेट्स (Delegates) मिलकर पार्टी प्रधान का चुनाव करते हैं। पहले 20 जनवरी से 20 फरवरी तक सदस्यता अभियान चलाया जाना था, जिसमें 25 लाख नए सदस्य बनाने का लक्ष्य रखा गया था, लेकिन यह प्रक्रिया आगे बढ़ा दी गई थी।
सुखबीर बादल की संभावित वापसी को लेकर भी पार्टी के भीतर चर्चाएं तेज हैं। कुछ नेता अब भी उन्हें पुनः प्रधान बनाए जाने के पक्ष में हैं। हालांकि अभी यह साफ नहीं है कि वे दोबारा उम्मीदवार बनेंगे या नहीं। इसी अनिश्चितता के बीच पार्टी अपने अगले नेतृत्व की दिशा तय करने के लिए आगे बढ़ रही है।
गौरतलब है कि श्री अकाल तख्त साहिब के फैसले के बाद सुखबीर बादल ने पार्टी की गतिविधियों से दूरी बना ली थी। इसके चलते पार्टी ने हाल ही में हुई चार विधानसभा सीटों – बरनाला (Barnala), गिद्दड़बाहा (Gidderbaha), डेरा बाबा नानक (Dera Baba Nanak) और होशियारपुर (Hoshiarpur) में कोई उम्मीदवार नहीं उतारा था। 1992 के बाद यह पहली बार हुआ जब पार्टी ने न तो उम्मीदवार खड़े किए और न ही किसी के साथ गठबंधन किया।
इस सबके बीच 8 अप्रैल की बैठक पार्टी के भविष्य की दिशा तय करने वाली मानी जा रही है। क्या सुखबीर बादल वापसी करेंगे या पार्टी को मिलेगा कोई नया चेहरा? इसका जवाब कुछ ही दिनों में सामने होगा।