AAP MLA Charanjit Singh Controversial Statement : पंजाब की राजनीति में आम आदमी पार्टी (AAP) के विधायकों के बोल लगातार बिगड़ते जा रहे हैं। ‘आम’ आदमी की सरकार होने का दावा करने वाले नेता अब ‘खास’ बनकर जनता को ही नीचा दिखाने लगे हैं। ताजा मामला चमकौर साहिब से AAP विधायक डॉ. चरणजीत सिंह का है, जिन्होंने अपने ही वोटरों की योग्यता पर सवाल उठा दिए हैं। उनका कहना है कि “दसवीं पास व्यक्ति मुझसे सवाल न करे”, क्योंकि उनके पास बड़ी-बड़ी डिग्रियां (MS Pathology) हैं।
डिग्री का अहंकार या सत्ता का नशा?
रिपोर्ट के मुताबिक, डॉ. चरणजीत सिंह को सवाल पसंद नहीं आ रहे हैं। उनका तर्क है कि वह एक डॉक्टर हैं, एमएस (MS) हैं, इसलिए एक 10वीं पास व्यक्ति उनसे बहस नहीं कर सकता। पत्रकार ने सवाल उठाया कि क्या लोकतंत्र में सवाल पूछने के लिए अब जनता को पहले डिग्रियां हासिल करनी होंगी? जिस देश को आजाद कराने में अनपढ़ या कम पढ़े-लिखे क्रांतिकारियों ने जान दे दी, वहां एक चुना हुआ प्रतिनिधि अपनी शिक्षा का अहंकार दिखा रहा है।
वोट मांगते वक्त नहीं पूछी थी डिग्री
जब ये नेता वोट मांगने जाते हैं, तब इन्हें किसान, मजदूर और आम आदमी के “अंगूठे” और “वोट” से कोई दिक्कत नहीं होती। लेकिन सत्ता मिलते ही ये खुद को “रब” समझने लगते हैं। पत्रकार ने तंज कसते हुए कहा कि अगर डिग्री ही सब कुछ है, तो अगली बार चुनाव में सिर्फ एमबीबीएस या पीएचडी वालों से ही वोट मांगिएगा। पंजाब की तरक्की में अनपढ़ किसानों और मजदूरों के खून-पसीने की कमाई लगी है, न कि सिर्फ डिग्रियों की।
अनमोल गगन मान का “कंजर क्लेश”
सिर्फ चरणजीत सिंह ही नहीं, रिपोर्ट में खरड़ से विधायक और पूर्व मंत्री अनमोल गगन मान का भी जिक्र किया गया। उन्होंने भी हाल ही में एक मीटिंग के दौरान विपक्षी पार्षदों को कथित तौर पर “कंजर क्लेश” जैसे अपशब्द कहे। वीडियो में कहा गया कि आम आदमी पार्टी के विधायक, जिन्हें “रत्न” कहा जा रहा था, अब विवादों का कारण बन रहे हैं। चाहे वह डॉ. चरणजीत हों या अनमोल गगन मान, इनकी भाषा और व्यवहार जनता के प्रति अपमानजनक हो गया है।
आनंदपुर साहिब जिला विवाद: डर और नाराजगी
विधायक के इस गुस्से के पीछे की एक वजह आनंदपुर साहिब को नया जिला बनाने की चर्चा भी है। वीडियो के अनुसार, मोहाली और रोपड़ के करीब 30-35 गांवों को तोड़कर नए जिले में शामिल करने की बात चल रही है। इससे वकीलों और स्थानीय लोगों में भारी नाराजगी है क्योंकि मोहाली से कटने पर उनकी जमीनों के रेट (जो अभी 8-9 करोड़ प्रति एकड़ हैं) गिरकर 80-90 लाख रह जाएंगे। जब लोग इस मुद्दे पर सवाल करते हैं, तो विधायक उन्हें “10वीं पास” कहकर चुप कराने की कोशिश कर रहे हैं।
बिक्रम मजीठिया की जमानत पर फैसला सुरक्षित
अकाली दल नेता बिक्रम सिंह मजीठिया की जमानत याचिका पर पंजाब-हरियाणा हाई कोर्ट में सुनवाई पूरी हो गई है। दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद अदालत ने फैसला सुरक्षित (Reserve) रख लिया है। यह फैसला कभी भी आ सकता है। वहीं, विजिलेंस ने मजीठिया के साले गजपत सिंह ग्रेवाल के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी करवा लिए हैं।
DIG भुल्लर को मिली थोड़ी राहत
सीबीआई द्वारा गिरफ्तार किए गए डीआईजी हरचंद सिंह भुल्लर के परिवार को कोर्ट से थोड़ी राहत मिली है। आर्थिक तंगी का हवाला देने पर सीबीआई ने उनके 5 बैंक खातों (सैलरी और पेंशन अकाउंट) को डी-फ्रीज करने पर कोई आपत्ति नहीं जताई है। हालांकि, बाकी खातों पर 8 दिसंबर को सुनवाई होगी। भुल्लर और उनके साथी कृष्ण कुमार शारदा को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है।
जानें पूरा मामला (Background)
यह पूरा विवाद तब शुरू हुआ जब चमकौर साहिब के विधायक डॉ. चरणजीत सिंह से उनके हलके के लोगों या पत्रकारों ने कुछ तीखे सवाल पूछे। बजाय विनम्रता से जवाब देने के, विधायक ने अपनी उच्च शिक्षा (डॉक्टर/एमएस) का हवाला देते हुए कहा कि कम पढ़े-लिखे लोगों को उनसे सवाल करने का हक नहीं है। यह बयान अब उनके और पार्टी के लिए गले की फांस बन गया है, जिसे लेकर राजनीतिक गलियारों में चर्चा गर्म है कि 2027 के चुनाव में जनता इसका जवाब जरूर देगी।
मुख्य बातें (Key Points)
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AAP विधायक डॉ. चरणजीत सिंह ने कहा- 10वीं पास लोग मुझसे सवाल न करें।
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विधायक ने अपनी मेडिकल डिग्री (MS) का हवाला देकर जनता को कमतर आंका।
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खरड़ विधायक अनमोल गगन मान पर भी अभद्र भाषा (“कंजर क्लेश”) का आरोप।
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बिक्रम मजीठिया की जमानत याचिका पर हाई कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रखा।
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CBI ने DIG हरचंद सिंह भुल्लर के 5 सैलरी/पेंशन खाते अनफ्रीज करने पर सहमति दी।






