नई दिल्ली, 24 दिसंबर (The News Air) फर्जी पासपोर्ट पर वर्तनी की गलती के कारण एक जालसाज पकड़ लिया गया। आरोपी की पहचान मनजोत सिंह के रूप में हुई।
कहा जाता है कि ‘नकल के लिए अकल जरूरी है’ यानी नकल करने के लिए भी दिमाग की जरूरत होती है। मनजोत सिंह
भारतीय नागरिक मनजोत सिंह, 21 और 22 दिसंबर की मध्यरात्रि को बैंकॉक से एयर इंडिया की उड़ान से दिल्ली हवाई अड्डे पर पहुंचा और आव्रजन मंजूरी के लिए चले गया।
जब उसने अपना पासपोर्ट दिखाया, तो सतर्क आव्रजन अधिकारी ने कुछ असामान्य देखा।
यह पृष्ठ 6 पर 22 मई, 2022 का मलेशियाई आव्रजन टिकट था, जो चिंता का कारण था।
स्टाम्प में ‘फ्रॉम’ शब्द को ‘फ़्रेम’ के रूप में लिखा गया था इससे यह पुष्टि हो गई कि यह नकली है।
पासपोर्ट जारी करने की तारीख 28 दिसंबर, 2022 थी, जो मलेशियाई आव्रजन टिकट की तारीख का खंडन करती है और कानून प्रवर्तन एजेंसियों के संदेह की पुष्टि करती है।
आईएएनएस के पास मौजूद एफआईआर के मुताबिक, 21 और 22 दिसंबर की दरमियानी रात को, पटियाला (पंजाब) के रहने वाले मनजोत सिंह बैंकॉक से आईजीआई हवाईअड्डे के टर्मिनल-3 पर पहुंचा और आगमन आव्रजन मंजूरी के लिए अपना पासपोर्ट दिखाया।
आईजीआई पुलिस स्टेशन में दर्ज एफआईआर में कहा गया है, “इमिग्रेशन क्लीयरेंस के दौरान उसके पासपोर्ट की जांच करते समय, यह देखा गया कि प्रस्तुत पासपोर्ट 28 दिसंबर, 2022 को जारी किया गया था, जबकि मलेशियाई इमिग्रेशन का एक निकास टिकट 22 मई, 2022 को जारी किया गया था।”
एफआईआर के मुताबिक“आगमन आव्रजन दिनांक 26 अप्रैल, 2023 में ‘फ्रॉम की जगह फ्रैम लिखा था।
इस बीच, सिंह पर पासपोर्ट अधिनियम 12 की धारा के तहत मामला दर्ज किया गया है और पुलिस ने जांच शुरू कर दी है।