मुंबई: हमारे देश में शादी के समय दूल्हा-दुल्हन कई रस्में निभाते हैं। देश के अलग-अलग हिस्सों में समाज के हिसाब से ये रस्में भी बदलती हैं। लेकिन आज हम आपको कुछ ऐसे रीति-रिवाजों के बारे में बताने जा रहे हैं जिनके बारे में सुनकर आप दंग रह जाएंगे।
क्या आपने कभी सुना है कि इसी देश में एक परंपरा ऐसी भी है, जिसमें पत्नी के गर्भवती होते ही पति को पत्नी की मर्जी से दूसरी शादी करने के लिए मजबूर कर दिया जाता है। पति-पत्नी के रिश्ते का एक अनोखा रूप राजस्थान के बाड़मेर इलाके में देखने को मिलता है, जहां पत्नी के गर्भवती होते ही पति दूसरी शादी कर लेता है।
हैरान मत हो यहां सालों से ये परंपरा चलती आ रही है और बाड़मेर इलाके के देरासर गांव के लोग इस रिवाज को मानते आ रहे हैं। दरअसल राजस्थान के इन इलाकों में पानी की भारी किल्लत रहती है। जिसकी वजह से यहां के पुरुषों को दो-तीन शादियां करनी पड़ती है। पानी की तलाश में घर की महिलाओं को तपती गर्मी में लंबी दूरी तय तक पानी लाना होता है। कई किलोमीटर तक पैदल सफर कर सिर पर पानी के घड़े रखकर पानी लाना होता है। ऐसे में गर्भवती होने पर महिलाएं इतना भार नहीं सह पाती है। लेकिन बिना पानी के काम भी नहीं चल सकता है, इसलिए पत्नी के गर्भवती होते ही घर में दूसरी महिला की जरूरत खलने लगती है और इसी जरूरत को पूरा करने के लिए पुरुष दूसरी शादी कर लेते हैं।
महाराष्ट्र के ठाणे जिले का एक गांव डेंगनमल है जिसकी यही कहानी है। वहां महिलाएं सिर्फ पानी लाने का काम करती हैं और अगर कोई एक महिला पानी लाने के काबिल नहीं रहती तो दूसरी शादी कर ली जाती है। गांव के कुछ पुरुषों की 4 पत्नियां भी हैं, जिसमें से सिर्फ एक ही लीगल है और बाकी तीन ‘पानी बाई’ होती हैं।
दरअसल, इसके पीछे समाज का एक नियम ऐसा है जहां अकेली महिला (चाहे वह विधवा हो या निचली जाति की) जिसे समाज में सम्मान की जरूरत होती है, उसकी शादी गांव के ऐसे पुरुष से करा दी जाती है, जो पहले से ही कई शादियां कर चूका होता है। इन महिलाओं के लीगल अधिकार नहीं होते और न ही ये बच्चे पैदा कर सकती हैं। जब ये बूढ़ी हो जाती हैं या बीमार हो जाती हैं तो पति फिर से शादी करता है ताकि पानी लाने का ये नियम ऐसे ही बना रहे।