जानकारी के अनुसार इस पदयात्रा के लिए कोई अनुमति नहीं मांगी गई थी और नितिन देशमुख और उनके 100 से अधिक कार्यकर्ताओं के खिलाफ जिले में कर्फ्यू के आदेश का उल्लंघन करने के मामले में यह मुकदमा दर्ज किया गया है। पता हो कि, अपने विधानसभा क्षेत्र में पानी की समस्या को लेकर विधायक नितिन देशमुख का अकोला से नागपुर तक पदयात्रा बीते 10 अप्रैल से शुरू हो चुकी है। यह यात्रा अकोला के राजराजेश्वर मंदिर से शुरू हुई और आज अमरावती जिले में प्रवेश कर चुकी है।
अकोला में मामला दर्ज
जानकारी के अनुसार, बीते मंगलवार की रात विधायक नितिन देशमुख, ठाकरे-शिवसेना के जिलाध्यक्ष गोपाल दाटकर, शहर प्रमुख राजेश मिश्रा सहित 100 से 125 लोगों के खिलाफ कलेक्टर के निषेधाज्ञा का उल्लंघन कर संघर्ष यात्रा के लिए भीड़ जुटाने के आरोप में मामले दर्ज किए गए थे। लेकिन यह मार्च जारी है। वहीं आज यह पदयात्रा अमरावती पहुंची है।
फडणवीस के पास जा रहे लेकर खारा पानी
जानकारी दें कि, विधायक नितिन देशमुख ने अमरावती और अकोला के 69 गांवों की पानी की समस्या को लेकर यह पदयात्रा की शुरुआत की है। पदयात्रा अकोला, अमरावती से हिकार नागपुर जा रही है। यह यात्रा 10 अप्रैल से शुरू हुई थी। आज यह अमरावती पहुंच गई। टी कार्यक्रम के अनुसार आगामी 21 अप्रैल को देशमुख नागपुर में उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के आवास पर पहुंचेंगे। जहां वे अपने साथ लाया हुआ खरा पानी उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस को देंगे।
मामले पर देशमुख ने जानकारी दी थी कि, अमरावती और अकोला जिले के 69 गांवों के निवासियों को कई सालों से खारा पानी पीना पड़ रहा है। चूंकि इस पानी में नमक की मात्रा अधिक होती है, इसलिए अब इन्हें कई बीमारियों का सामना करना पड़ता है। वहीं नितिन देशमुख ने इन गांवों से लाये पानी को एक टैंकर में भरकर फडणवीस के आवास तक पहुंचाने का आंदोलन शुरू किया है। लेकिन अब इस पदयात्रा की अनुमति नहीं लेने से विधायक नितिन देशमुख एक बार फिर मुश्किल में हैं।