Amitabh Thakur Arrest: उत्तर प्रदेश की सियासत और पुलिस महकमे में उस वक्त हड़कंप मच गया जब देर रात एक पूर्व आईपीएस अधिकारी को फिल्मी अंदाज में चलती ट्रेन से गिरफ्तार कर लिया गया। सरकार के खिलाफ मुखर रहने वाले चर्चित पूर्व आईपीएस अमिताभ ठाकुर को देवरिया पुलिस और क्राइम ब्रांच की टीम ने शाहजहांपुर रेलवे स्टेशन से हिरासत में लिया है।
यह कार्रवाई तब हुई जब वह लखनऊ सुपरफास्ट एक्सप्रेस से दिल्ली के लिए सफर कर रहे थे। एसी कोच में बैठे अमिताभ ठाकुर को अंदाजा भी नहीं था कि उनका सफर बीच में ही खत्म होने वाला है।
फिल्मी स्टाइल में गिरफ्तारी
घटनाक्रम किसी थ्रिलर फिल्म जैसा रहा। अमिताभ ठाकुर मंगलवार की रात आवश्यक कार्य से दिल्ली जा रहे थे। जैसे ही उनकी ट्रेन शाहजहांपुर रेलवे स्टेशन पर रुकने वाली थी, वहां पहले से सादे कपड़ों में मौजूद पुलिसकर्मियों ने घेराबंदी कर ली। ट्रेन के रुकते ही पुलिस टीम एसी कोच में दाखिल हुई और उन्हें नीचे उतार लिया।
रिपोर्ट्स के मुताबिक, यह गिरफ्तारी रात के करीब 2:00 बजे हुई। आनन-फानन में उन्हें ट्रेन से उतारकर देवरिया ले जाया गया, जहां उनसे पूछताछ की जा रही है। जीआरपी प्रभारी अनिल कुमार ने पुष्टि की है कि क्राइम ब्रांच की टीम उन्हें अपने साथ ले गई है।
क्या है देवरिया कनेक्शन?
इस गिरफ्तारी के पीछे की वजह देवरिया से जुड़ा एक पुराना भूमि आवंटन का मामला बताया जा रहा है। पुलिस उपायुक्त (पश्चिम) विश्वजीत श्रीवास्तव के अनुसार, जब अमिताभ ठाकुर देवरिया में पुलिस अधीक्षक (SP) के पद पर तैनात थे, उस समय उन्होंने कोई जमीन ली थी। इसी मामले में उन पर धोखाधड़ी और अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया था। जांच के लिए एसआईटी (SIT) का गठन भी किया गया था। अब इसी केस में पूछताछ के लिए उन्हें उठाया गया है।
पत्नी नूतन ठाकुर का पलटवार
अमिताभ ठाकुर की पत्नी और सामाजिक कार्यकर्ता नूतन ठाकुर ने इस कार्रवाई पर सवाल उठाए हैं। उन्होंने बताया कि जिस मामले में एफआईआर की बात कही जा रही है, वह जमीन वे लोग 25 साल पहले ही छोड़ चुके हैं। नूतन ठाकुर के मुताबिक, तीन महीने पहले लखनऊ पुलिस ने देवरिया में दर्ज इस एफआईआर की जानकारी दी थी।
नूतन ठाकुर ने आशंका जताई थी कि उनके पति के साथ कोई अनहोनी हो सकती है। बुधवार सुबह लखनऊ के तालकटोरा थाना प्रभारी ने उन्हें फोन पर गिरफ्तारी की सूचना दी। उनका कहना है कि अमिताभ ठाकुर किसी जरूरी काम से दिल्ली जा रहे थे, तभी उन्हें रोक लिया गया।
आम आदमी पर असर
एक पूर्व वरिष्ठ पुलिस अधिकारी के साथ हुई यह कार्रवाई आम जनता के बीच चर्चा का विषय बनी हुई है। यह घटना दर्शाती है कि कानून के हाथ कितने लंबे हो सकते हैं, चाहे सामने वाला व्यक्ति कितना भी प्रभावशाली क्यों न रहा हो। साथ ही, यह पुलिस और प्रशासन की कार्यशैली पर भी बहस छेड़ती है कि क्या यह कार्रवाई नियमों के तहत है या इसके पीछे कोई और वजह है।
‘जानें पूरा मामला’
अमिताभ ठाकुर अपनी बेबाकी और सरकार विरोधी बयानों के लिए जाने जाते रहे हैं। चाहे कफ सिरप का मुद्दा हो या प्रशासन की कार्यशैली, वे अक्सर सोशल मीडिया पर सवाल उठाते रहे हैं। लखनऊ के तालकटोरा थाने में भी उन पर धोखाधड़ी समेत कई मामले दर्ज हैं। देवरिया पुलिस का कहना है कि यह गिरफ्तारी पूरी तरह से कानूनी प्रक्रिया का हिस्सा है और भूमि आवंटन में हुई कथित हेराफेरी की जांच के लिए यह जरूरी था।
‘मुख्य बातें (Key Points)’
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पूर्व आईपीएस अमिताभ ठाकुर को शाहजहांपुर रेलवे स्टेशन से गिरफ्तार किया गया।
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देवरिया पुलिस और क्राइम ब्रांच ने उन्हें लखनऊ सुपरफास्ट एक्सप्रेस से उतारा।
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यह गिरफ्तारी देवरिया में दर्ज भूमि आवंटन और धोखाधड़ी के मामले में हुई है।
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पत्नी नूतन ठाकुर का दावा है कि जिस जमीन का विवाद है, उसे वे 25 साल पहले छोड़ चुके हैं।






