Bareilly BDA Action: उत्तर प्रदेश के बरेली में मंगलवार दोपहर उस वक्त अफरा-तफरी का माहौल बन गया जब बरेली विकास प्राधिकरण (BDA) के दो बुलडोजर सूफी टोला इलाके में सरफराज वली खां और राशिद खां के बारात घरों को ध्वस्त करने पहुंचे। दोपहर ठीक 2 बजे बुलडोजर और भारी पुलिस बल को देखते ही सरफराज के परिवार की महिलाएं और युवतियां ‘अच्छे मियां’ के घर की छत पर चढ़ गईं और चीख-चीख कर रोने लगीं। उन्होंने पुलिस और बीडीए अधिकारियों से हाथ जोड़कर गुहार लगाई, “रहम करो… रहम, खुदा से डरो।”
कार्रवाई के विरोध में माहौल बेहद तनावपूर्ण हो गया। राशिद खां के दो भाइयों के परिवार की महिलाएं घर से बाहर निकलने को तैयार नहीं थीं, जिससे प्रशासन के पसीने छूट गए। इन महिलाओं को घर से बाहर निकालने और विरोध को शांत करने में पुलिस को करीब 40 मिनट की कड़ी मशक्कत करनी पड़ी। मरहूम आसिफ और पप्पू के परिवार की महिलाओं और बच्चों ने भी कार्रवाई का पुरजोर विरोध किया, लेकिन मौके पर मौजूद अधिकारी ‘ऊपर के ऑर्डर’ का हवाला देते हुए बारात घरों को तोड़ने पर अड़े रहे।
बुलडोजर के आगे लेटकर विरोध, माथा पीटने लगी बुजुर्ग महिला
विरोध के दौरान राशिद के एक भाई उग्र हो गए और बुलडोजर के सामने आ गए। उन्होंने छत पर खड़ी महिलाओं को भी नीचे सड़क पर आकर विरोध करने के लिए उकसाया, हालांकि पुलिस ने उन्हें नियंत्रित करने की कोशिश की। इसी बीच एक बुजुर्ग महिला बुलडोजर के पास आकर अपना माथा पीटने लगी और रोते हुए अधिकारियों से अपना घर न तोड़ने की मिन्नतें करने लगी। महिला पुलिसकर्मियों ने बड़ी मुश्किल से राशिद खां के दोनों मरहूम भाइयों की पत्नियों और बेटियों को सामने के दूसरे घर में पहुंचाया।
तीन भाइयों की हो चुकी है मौत, बारात घर ही था सहारा
मोहल्ले के लोगों के मुताबिक, ‘गुड मैरिज हॉल’ अच्छे मियां के तीन बेटों—राशिद खां, नसीम खां और आसिफ खां के नाम पर है। अच्छे मियां के कुल छह बेटे थे, जिनमें से पप्पू, आसिफ और यूनुस की मौत हो चुकी है। नसीम अपने परिवार के साथ दिल्ली में रहते हैं, जबकि राशिद और अनीस का परिवार मैरिज हॉल के सामने रहता है। मरहूम पप्पू और आसिफ का परिवार इसी मैरिज हॉल के ऊपर वाले हिस्से में रहता था और उनकी विधवा पत्नियां अधिकारियों से रो-रोकर घर न तोड़ने की गुहार लगा रही थीं। उनका कहना था कि उनके पास रहने के लिए कोई दूसरा घर नहीं है और परिवार का खर्च भी इसी मैरिज हॉल की कमाई से चलता है।
मोबाइल टावर को सुरक्षित करने पहुंचे कर्मी
सपा नेता सरफराज वली खां के मैरिज हॉल की दूसरी मंजिल पर लगे मोबाइल टावर को हटाने के लिए कंपनी के कर्मचारी दोपहर 3:40 पर पहुंचे। उन्होंने टावर से कीमती बैटरियां और सामान सुरक्षित किया। बताया जा रहा है कि सरफराज इस टावर के बदले मोबाइल कंपनी से हर महीने किराया वसूलते थे।
मौलाना तौकीर रजा से रिश्तों पर सफाई
सरफराज वली खां के बेटे सैफ वली खां ने बताया कि उन्हें 29 नवंबर की रात 10 बजे नोटिस दिया गया था कि 1 दिसंबर को उनका मैरिज हॉल ध्वस्त कर दिया जाएगा। उन्होंने स्पष्ट किया कि मौलाना तौकीर रजा और उनकी पार्टी से उनका कोई निजी संबंध नहीं है, केवल आला हजरत दरगाह से मजहबी ताल्लुकात हैं। राशिद खां के परिवार की महिलाओं ने भी आरोप लगाया कि मौलाना तौकीर से जबरन उनकी रिश्तेदारी जोड़ी जा रही है।
ध्वस्तीकरण की कार्रवाई टली
मंगलवार को दिनभर ‘एवान-ए-फरहत’ और ‘गुड मैरिज हॉल’ पर भारी पुलिस बल तैनात रहा और ध्वस्तीकरण की चर्चाएं गर्म रहीं। हालांकि, शाम तक बीडीए के अधिकारी या कर्मचारी किसी भी मैरिज हॉल पर कार्रवाई के लिए नहीं पहुंचे और ध्वस्तीकरण की कार्रवाई टल गई।
मुख्य बातें (Key Points)
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बरेली में बीडीए की टीम बुलडोजर लेकर दो बारात घरों को तोड़ने पहुंची।
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महिलाओं और बच्चों ने ‘रहम करो’ की गुहार लगाते हुए जमकर विरोध किया।
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पुलिस को स्थिति नियंत्रित करने और महिलाओं को घर से निकालने में 40 मिनट लगे।
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प्रभावित परिवारों ने मौलाना तौकीर रजा से किसी भी निजी संबंध से इनकार किया।
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भारी पुलिस बल की मौजूदगी के बावजूद ध्वस्तीकरण की कार्रवाई नहीं हुई।






