Hong Kong Fire Disaster हांगकांग का ताइपो इलाका भीषण आग की लपटों में घिर गया है, जिसने देखते ही देखते कई गगनचुंबी इमारतों को अपनी चपेट में ले लिया। इस दिल दहला देने वाली त्रासदी में 44 लोगों की जान चली गई है, जबकि 300 से ज्यादा लोग अभी भी लापता बताए जा रहे हैं। यह हांगकांग के इतिहास में पिछले तीन दशकों की सबसे भयावह आग मानी जा रही है।
आसमान छूती लपटें और इमारत से नीचे गिरता जलता हुआ मलबा—ये तस्वीरें हैं उस तबाही की जिसने सैकड़ों लोगों के आशियानों को राख में बदल दिया है। चारों तरफ चीख-पुकार, आंखों में आंसू और गम का माहौल है। लोग अपनी जान बचाने के लिए इधर-उधर भाग रहे हैं, और मलबे के बीच अपने लापता परिजनों की तलाश कर रहे हैं।
‘ऊपरी मंजिलों पर फंसे लोगों तक पहुंचने की जंग’
आग ताइपो इलाके में स्थित वांगफुक कोर्ट (Wangfuk Court) के कई टावरों में लगी है। आग इतनी विकराल है कि दमकलकर्मियों को ऊपरी मंजिलों पर फंसे निवासियों तक पहुंचने में भारी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है।
आग लगातार भड़क रही है और इमारत से गिरते मलबे ने बचाव कार्य को और भी खतरनाक बना दिया है। अफरातफरी के बीच दमकलकर्मी अपनी जान जोखिम में डालकर लोगों को बचाने की कोशिश कर रहे हैं।
‘तीन लोग गिरफ्तार, निर्माण सामग्री पर उठे सवाल’
अधिकारियों ने खुलासा किया है कि इस भीषण अग्निकांड के सिलसिले में एक निर्माण कंपनी के दो निदेशकों और एक सलाहकार को गिरफ्तार किया गया है। जांचकर्ताओं को शक है कि घटनास्थल पर मौजूद सुरक्षात्मक जाल, कैनवास शीट और प्लास्टिक कवरिंग जैसी निर्माण सामग्री आवश्यक सुरक्षा मानकों को पूरा नहीं करती थी।
माना जा रहा है कि इन्हीं ज्वलनशील सामग्रियों की वजह से आग इतनी तेजी से फैली और पूरी बिल्डिंग को अपनी चपेट में ले लिया।
’30 साल में सबसे भीषण त्रासदी’
यह आग हांगकांग में पिछले 30 सालों में हुई सबसे भीषण आग बताई जा रही है। इसकी भयावहता ने 1996 में लगी कुख्यात गार्ले बिल्डिंग (Garley Building) की आग की यादें ताजा कर दी हैं, जिसमें 41 लोगों की जान गई थी। ताइपो जिले में लगी यह आग पिछले 16 घंटों से लगातार जल रही है।
‘पॉलीस्टायरीन बोर्ड से फैली आग’
आग इतनी तेजी से कैसे फैली, इस पर गंभीर सवाल उठ रहे हैं। अग्निशमन सेवा निदेशक आंटी योंग (Anti Yong) ने बताया कि कर्मचारियों ने कई इमारतों की खिड़कियों को पॉलीस्टायरीन बोर्ड से ढका हुआ था, जो कि बेहद असामान्य है।
उन्होंने कहा कि ये पॉलीस्टायरीन बोर्ड अत्यधिक ज्वलनशील होते हैं और आग को बहुत तेजी से फैलाने का काम करते हैं। फिलहाल, आग लगने के सटीक कारणों का पता लगाने के लिए जांच जारी है। दमकलकर्मी सबसे ज्यादा प्रभावित तीन टावरों पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं, जबकि चार अन्य इमारतों में लगी आग पर काबू पा लिया गया है, हालांकि वह पूरी तरह बुझी नहीं है।
‘मुख्य बातें (Key Points)’
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हांगकांग के ताइपो इलाके में वांगफुक कोर्ट के कई टावरों में भीषण आग लग गई है।
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इस हादसे में 44 लोगों की मौत हो गई है और 300 से ज्यादा लोग लापता हैं।
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इसे पिछले 30 सालों में हांगकांग की सबसे भीषण आग माना जा रहा है।
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आग फैलने का कारण ज्वलनशील पॉलीस्टायरीन बोर्ड और सुरक्षा मानकों की अनदेखी बताया जा रहा है।
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मामले में एक निर्माण कंपनी के दो निदेशकों और एक सलाहकार को गिरफ्तार किया गया है।






