Punjab Flood Damage Assessment Begins: पंजाब में आई हालिया बाढ़ (Punjab Flood Crop Damage) के बाद केंद्र सरकार ने फसल नुकसान का सही आकलन करने के लिए अपनी छह विशेष टीमें अमृतसर और आस-पास के प्रभावित इलाकों में भेजी हैं। इन टीमों ने मंगलवार को अजनाला (Ajnala) की अनाज मंडी पहुंचकर धान (Paddy Crop) के सैंपल एकत्र किए। इसका उद्देश्य यह जानना है कि बाढ़ से फसल की गुणवत्ता और पैदावार पर कितना असर पड़ा है।
फसल के इन सैंपलों की जांच रिपोर्ट तैयार कर केंद्र सरकार को भेजी जाएगी। इसके बाद किसानों को मुआवजा या राहत देने को लेकर अगला निर्णय किया जाएगा। राज्य सरकार को उम्मीद है कि रिपोर्ट के आधार पर किसानों के नुकसान की भरपाई की दिशा में ठोस कदम उठाए जाएंगे।
फसलों की जांच रिपोर्ट पर तय होगा मुआवजा
पंजाब फूड सप्लाई विभाग के जॉइंट डायरेक्टर मंगल दास (Mangal Das) ने बताया कि राज्य सरकार ने पहले ही फसलों के नुकसान का प्रारंभिक आकलन करते हुए एक रिपोर्ट केंद्र को भेजी थी। अब उसी रिपोर्ट के आधार पर केंद्र ने अपनी टीमें भेजी हैं।
इन विशेषज्ञ टीमों का काम बाढ़ से प्रभावित इलाकों से फसल के नमूने इकट्ठा करना और वैज्ञानिक तरीके से उनकी जांच करना है। जांच पूरी होने के बाद केंद्र सरकार यह तय करेगी कि किसानों को राहत राशि दी जाएगी या नहीं। सरकार की कोशिश है कि धान उत्पादकों को उनके नुकसान का उचित मुआवजा दिया जा सके ताकि अगली फसल की तैयारी पर असर न पड़े।
पंजाब में अगस्त 2025 में आई बाढ़ (Punjab Flood 2025) ने अमृतसर, जालंधर, कपूरथला और तरनतारन जैसे जिलों को गंभीर रूप से प्रभावित किया था। नदियों के उफान और लगातार हुई बारिश ने हजारों एकड़ धान की फसल को बर्बाद कर दिया। किसानों को भारी आर्थिक नुकसान झेलना पड़ा।
इससे पहले राज्य सरकार ने Mission Punervaas के तहत प्रभावित किसानों को मुआवजा देने की प्रक्रिया शुरू की थी, लेकिन केंद्र की रिपोर्ट के बाद राहत राशि को और बढ़ाने या नई नीतियों पर निर्णय होने की उम्मीद है।
कृषि विशेषज्ञों के मुताबिक, बाढ़ के बाद फसल की मिट्टी में पोषक तत्वों की कमी और गुणवत्ता में गिरावट से उत्पादन पर दीर्घकालिक असर पड़ सकता है। इसलिए केंद्र की जांच रिपोर्ट को बेहद अहम माना जा रहा है।
मुख्य बातें (Key Points):
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केंद्र सरकार की छह टीमें अमृतसर और आसपास के बाढ़ प्रभावित इलाकों का दौरा कर रही हैं।
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फसलों के सैंपल लेकर गुणवत्ता और नुकसान का वैज्ञानिक आकलन किया जा रहा है।
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रिपोर्ट के आधार पर किसानों को राहत राशि देने पर केंद्र करेगा फैसला।
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पंजाब सरकार ने पहले ही नुकसान की प्रारंभिक रिपोर्ट केंद्र को भेज दी थी।
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बाढ़ से धान की फसल को भारी नुकसान, हजारों एकड़ खेत डूबे।






